गाजा/यरुशलम:इस्राइल ने 10 दिनों से चल रहे संघर्ष को तेज करते हुए पिछले पांच साल में पहली बार शुक्रवार को हमास शासित गाजा पट्टी में तोपों और टैंकों के साथ जमीनी अभियान शुरू किया. वहीं, हवाई हमले में अभी तक 265 फिलीस्तीनियों के मारे जाने के बावजूद यहूदी राष्ट्र पर चरमपंथियों के रॉकेट हमले नहीं रुके हैं. इस हमले में कम से कम 1,920 लोग घायल हुए हैं.
तोपखानों और हवाई हमलों के सहारे इस्नइली बलों ने बीती रात जमीनी अभियान शुरू किया. इस पर, इस्नइली थल सेना ने कहा है कि इसका उद्देश्य हमास के आतंकी ढांचे को एक गंभीर आघात पहुंचाना है. इस्नइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतनयाहू ने कहा कि सेना हमास के सुरंग नेटवर्क को निशाना बना रही है, जिसे वह सिर्फ हवाई हमले से नहीं कर सकती. टैंकों और तोपों की गोलाबारी के सहारे हजारों की संख्या में सैनिक बीती रात गाजा में घुस गये. हमास ने चेतावनी दी है कि इस्राइल को जमीनी घुसपैठ की भारी कीमत चुकानी पड़ेगी. गाजा पर हमास का जून, 2007 से शासन है.
गाजा पट्टी खाली करने को कहा
इस्नइली सेना ने एक बयान में कहा, तनाव को कम करने के प्रस्तावों को बार-बार ठुकराये जाने के बाद आइडीएफ ने गाजा में जमीनी अभियान शुरूकिया है.’ आईडीएफ ने कहा कि उसका मकसद ‘ऐसी स्थिति बनाना है जिसमें इस्राइल के निवासी बिना आतंक के और सुरक्षा के साथ रह सकें.’ इस्नइली सेना के प्रवक्ता जनरल मोती आलमोज ने गाजा के निवासियों से अपील की है कि जिन इलाकों में सेना अपना अभियान चला रही है वहां से वे चले जायें. उन्होंने कहा कि जब तक जरूरत होगी तब तक यह अभियान चलेगा. गाजा में बीती रात से हुई गोलाबारी में 24 फिलीस्तीनी मारे गये हैं.
मून ने अफसोस जताया
गाजा में संघर्ष विराम के लिए दबाव बनाने के लिए फिलीस्तीनी राष्ट्रपति महमूद अब्बास तुर्की जायेंगे. इस संघर्ष को समाप्त करने को लेकर वार्ता के लिए मिस्र मुख्य स्थल रहा है. संयुक्त राष्ट्र महासचिव बान की मून ने वैश्विक समुदाय की ओर से संयम की अपील के बावजूद इस्नइल की ओर से जमीनी अभियान शुरू करने पर अफसोस जताया है. मून ने कहा, ‘मैं इस्नइल से आग्रह करता हूं कि वह नागरिकों के हताहत होने को रोकने के लिए और प्रयास करे. इस संघर्ष का कोई सैन्य समाधान नहीं हो सकता. हमास के निर्वासित प्रमुख खालिद मिशाल ने कहा कि इस्नइल के जमीनी अभियान की किस्मत में नाकामी लिखी है.