
रियो ओलंपिक के मुक्केबाज़ी मुक़ाबलों में भारत की आख़िरी उम्मीद विकास कृष्ण यादव भी पदक की दौड़ से बाहर हो गए हैं.
75 किलो भार वर्ग के क्वार्टर फ़ाइनल मुक़ाबले में उन्हें उज़्बेकिस्तान के मुक्केबाज़ बेक्तेमीर मेलाकुज़ियाव ने 3-0 से हरा दिया.
विकास अगर ये मैच जीत जाते तो उनका कम से कम कांस्य पदक सुनिश्चित हो जाता.

विकास ने शुरुआत से ही बेहद रक्षात्मक रुख़ अपनाया और इसका ख़ामियाज़ा उन्हें भुगतना पड़ा.
विकास यादव अमरीका के चार्ल्स कोनवैल को 3-0 से और उसके बाद तुर्की के ओलडर सिपल को भी 3-0 से हराकर क्वार्टर फ़ाइनल में पहुंचे थे.
लेकिन साल 2015 में विश्व मुक्केबाज़ी चैंपियनशिप में रजत पदक जीत चुके मेलाकुज़ियाव के सामने वो बिलकुल बेबस नज़र आए.
विकास ने कभी भी अपने प्रतिद्वंद्वी पर हावी होने की कोशिश नहीं की.
अब भारत की उम्मीदें महिला बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधु और पुरुष सिंगल्स में के श्रीकांत पर टिकी हैं जो क्वार्टर फ़ाइनल में पहुंच चुके हैं.
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