
मुंबई से लगभग 50 किलोमीटर दूर कोस्ट गार्ड को 19 लावारिस ड्रम मिले हैं जिनमें अतिज्वलनशील पदार्थ था.
तटरक्षक दल को ये ड्रम अलीबाग ज़िले के कशिद बीच के पास मिले हैं जहां 1993 मुंबई धमाकों में इस्तेमाल हुआ आरडीएक्स उतारा गया था.
कोस्ट गार्ड के मुताबिक हर ड्रम में लगभग 200 लीटर नाप्था था जो अतिज्वलनशील होता है.
तटरक्षक दल ने एक बयान में कहा, ”रविवार दोपहर तटरक्षक दल के एक गश्ती हेलिकॉप्टर में मौजूद अधिकारीयों ने सबसे पहले 12 ड्रमों को कशीद बीच के पास समुंदर में तैरते हुए देखा था."
जब अधिकारीयों ने इसकी आगे जाँच की तब नज़दीक से कुछ और ड्रम किनारे पर भी मिले.
इस बात की जानकारी उस तटरक्षक जहाज़ को दी गई जो उस समय मुंबई के किनारे के पास था और इसे तफ़्तीश के लिए अलीबाग भेजा गया.
जहाज़ में विस्फोट हो सकता था

घटना की जानकरी तटरक्षक दल के जॉइंट ऑपरेशन सेंटर, कोस्टल सिक्यूरिटी, मुंबई, इंस्पेक्टर जनरल ऑफ़ पुलिस, कोंकण रेंज, तथा कस्टम्स विभाग को भी दे दी गई.
कमांडिंग ऑफ़िसर मुरुड जंजीरा के नेतृत्व में तटरक्षक दल अलीबाग ज़िले के ही बारशिवी, कुराली, रेवदंडा तथा श्रीवर्धन गावों के समंदरी किनारों से नौ और ड्रम बरामद किए.
भारतीय तटरक्षक दल तथा स्थानीय पुलिस ने मिलकर यह सारे ड्रम ज़ब्त कर लिए हैं. पुलिस अधीक्षक सुवेज़ हक़ ने बीबीसी को बताया, ”इन ड्रमों पर कुछ निशान बने हुए है, जिनकी हम जांच कर रहे है.”
तटरक्षक दल के अधिकारियों के अनुसार संभव है कि ये ड्रम किसी जहा़ज से गिराए गए हों, लेकिन इन सभी चीज़ों की जाँच हो रही है. उनके अनुसार इस तरह ज्वलनशील पदार्थ से भरे तैरते ड्रम किसी भी जहाज़ के लिए ख़तरा हो सकते थे, क्योंकि जहाज़ से टकराने पर इनमें विस्फोट हो सकता था.
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