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जनमत संग्रह : अपनी किस्मत खुद लिखने की ओर अग्रसर यूनान

एथेंस : धन संकट में घिरे यूनान के मतदाताओं ने रविवार को एक जनमत संग्रह के लिए मतदान किया जिसे प्रधानमंत्री एलेक्सिस सिपरस ने इसे यूरो मुद्रा क्षेत्र में यूनान के भाग्य का फैसला करने वाला करार दिया है. सरकार ने लोगों जनमत संग्रह के जरिए पूछा है कि विदेशी कर्ज के लिए कर्जदाताओं की […]

एथेंस : धन संकट में घिरे यूनान के मतदाताओं ने रविवार को एक जनमत संग्रह के लिए मतदान किया जिसे प्रधानमंत्री एलेक्सिस सिपरस ने इसे यूरो मुद्रा क्षेत्र में यूनान के भाग्य का फैसला करने वाला करार दिया है. सरकार ने लोगों जनमत संग्रह के जरिए पूछा है कि विदेशी कर्ज के लिए कर्जदाताओं की शर्तों पर ‘हां ‘कहा जाए या ‘नहीं’ जिसका जवाब जनता ने ‘ना’ कहकर दिया. मतदान के बाद टीवी सर्वेक्षणों में यह बात साफ तौर पर नजर आ रही है कि ज्यादातर लोगों ने यूरोजोन में ‘ना’ रहने के पक्ष में मतदान किया. यूनान के गृह मंत्रालय के लिए सर्वे कराने वाली सिंगुलर लॉजिक ने कहा है कि 61 फीसदी से ज्यादा मतदाताओं ने कर्जदाताओं के प्रस्ताव के खिलाफ, करीब 39 फीसदी ने इसके पक्ष में मतदान किया है.

61 प्रतिशत जनता ने कहा‘ना’

प्राप्त जानकारी के अनुसार यूनान के करीब 61 प्रतिशत लोगों ने ‘ना’ के पक्ष में वोट डाला है. बताया जा रहा है कि 61 फीसद नागरिकों ने बेलआउट पैकेज को ‘ना’ कहकर खारिज कर दिया. पांच महीने पुरानी वामपंथी सरकार की बागडोर संभाल रहे प्रधानमंत्री एलेक्सिस सिप्रास ने जोर देकर कहा था कि ‘ना’ वोट से उन्हें बेहतर समझौता करने में मदद मिलेगी जबकि ‘हां’ के पक्ष में परिणाम रहा तो इसका मतलब होगा कि उन्हें कठोर मांगों के आगे झुकना पडेगा. विपक्ष ने सिप्रास पर यूरो का इस्तेमाल करने वाले 19 सदस्यीय देशों के समूह में देश की सदस्यता खतरे में डालने का आरोप लगाया और कहा है कि ‘हां’ वोट एक समान मुद्रा बरकरार रखने के बारे में है.

यूरोपीय देश सकते में

जनमत संग्रह के बाद से ही यूरोपीय देश सकते में आ गये हैं. यूनान की आर्थिक समस्या पर चर्चा के लिए यूरोजोन का शिखर सम्मेलन बुलाया गया है. यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष ने कहा है कि उन्होंने यूनान की समस्या पर चर्चा के लिए सम्मेलन बुलाया है.

सर्वेक्षण में ही ‘ना’

यूनान के लाखों लोगों ने रविवार को महत्वपूर्ण जनमत संग्रह के लिए मतदान किया. दो टीवी सर्वेक्षणों में बताया जा रहा था कि मतदान में ‘नहीं’ का विकल्प उभर कर आ सकता है. स्टार टेलीविजन चैनल ने वोटिंग के दौरान और उससे एक दिन पहले एक टेलीफोन सर्वेक्षण कराया जिसमें 49.54 प्रतिशत लोगों ने ‘ना’ में जवाब दिया तो 46-51 प्रतिशत ने ‘हां’ कहा. इसी तरह मतदान संपन्न होने के बाद मेगा चैनल सर्वे में 49.5-53.5 प्रतिशत ने ‘ना’ का विकल्प चुना तो 46.5-50.5 प्रतिशत ने ‘हां’ का विकल्प चुना है. मतदान खत्म होने के बाद रक्षा मंत्री पनोस कामेनोस ने एक ट्वीट में कहा कि यूनान ने साबित किया है उसे ब्लैकमेल कर, धमकियां देकर झुकाया नहीं जा सकता.

सुबह से ही खोल दिए गए थे मतदान केंद्र

एथेंस में देवी एथेना के मंदिर की पहाडी की तलहटी से लेकर एजियन सागर में दूरदराज तक फैले 1.1 करोड की आबादी वाले यूनान के द्वीपों के लोगों के लिए रविवार सुबह से ही मतदान केंद्र खोल दिए गए थे. यह जनमत संग्रह सरकार द्वारा कड़े पूंजी नियंत्रण के बीच कराया गया. इस नियंत्र के तहत बैंक बंद कर दिए गए और लोगों को बैंकों के एटीएम से एक दिन में 60 यूरो (67 डालर) तक की निकासी की छूट दी गई.

कोई भी यूनान को यूरोजोन से बाहर नहीं कर सकता

कोई भी यूनान को यूरोजोन से बाहर नहीं कर सकता है. यह कहना यूनान के वित्त मंत्री यानिस वेराओफाकिस का है. उन्होंने कहा कि यूरो मुद्रा से वापस लौटने का कोई जरिया नहीं है. दूसरी बात यह भी है कि अगर यूरोपियन सेंट्रल बैंक ने तत्काल मदद नहीं की तो एक-दो दिन में ग्रीस के बैंकों की नकदी खत्म हो जाएगी. फिलहाल बैंक सात जुलाई तक बंद हैं.

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