मोतिहारी/बंजरिया : छेड़खानी के आरोपित एक युवक के साथ उसके परिजनों को भी सजा दी गयी. सार्वजनिक तौर पर इन लोगों से उठक-बैठक करायी गयी. साथ ही दो हजार का जुर्माना भी लगाया गया. आरोपित के परिजनों से इस बात का बांड भी लिखवाया गया कि अगर दोबारा ऐसी हरकत हुई, तो 50 हजार का जुर्माना लगेगा और उनके परिवार का सामाजिक बहिष्कार किया जायेगा.
मामला गोखुला
गांव से जुड़ा है. बताया जाता है कि गांव की एक युवती शुक्रवार को खेत में घास काटने गयी थी. उसको अकेला देख कर अनिल कुमार उसे पकड़ लिया और छेड़खानी करने लगा़. इससे युवती से शोर मचाना शुरू कर दिया. आवाज सुन कर आसपास के लोग मौके पर पहुंच गये और उन लोगों ने युवक को पकड़ लिया. इसके बाद उसे पेड़ से बांध दिया गया.
इसके बाद उसकी जमकर पिटाई की गयी. बताया जाता है कि अनिल ने जनवरी महीने में उक्त युवती से छेड़खानी की थी. उस समय भी ग्रामीणों ने उसे रंगेहाथ पकड़ा था और पिटाई की थी. उसके बाद उसे पुलिस के हवाले कर दिया गया. युवती के पिता की शिकायत पर उस समय आरोपित को जेल भी भेजा गया गया था. चार महीने जेल में रहने के बाद अनिल जमानत पर छूटा, लेकिन इससे भी उसने सबक नहीं लिया. उसने दुबारा फिर से उक्त युवती के साथ छेड़खानी की कोशिश की.
इसके बाद गांव में पंचायत बैठी. पंचों ने युवक अनिल के साथ उसके परिजनों को भी सजा देने का फैसला लिया. जिस पर उसी समय अमल किया गया. सैकड़ों ग्रामीणों के सामने अनिल के साथ उसके परिजनों से भी उठक-बैठक करायी गयी. उप सरपंच भाग्यनारायण सिंह व ग्रामीण कांग्रेस प्रसाद ने बताया कि हम हम लोग आपस में परिवार की तरह रहते है़. गांव में सभी जाति के लोगों के बीच एक रिश्ता है़ इस तरह के मनचलों को ऐसी सजा मिलनी चाहिए़ मुखिया रूआबजा खातून ने बताया कि महिला हूं, जानती हूं कि महिलाओं की क्या परेशानी होती है़ महिलाओं के साथ छेड़खानी करने वाले को कड़ी सजा मिलनी चाहिए़
भेज देंगे जेल
थानाध्यक्ष रामविनोद सिंह ने कहा कि घटना की जानकारी नहीं है़ किसी ने आवेदन नहीं दिया है़ यदि आवेदन मिलता है, तो आरोपित को गिरफ्तार किया जायेगा़ उसके विरुद्ध कठोर कार्रवाई होगी़
पेड़ से बांध दिया गया था अनिल
छेड़खानी के दौरान पकड़ने के बाद अनिल कुमार को पेड़ से बांध दिया गया था. इसके बाद उसकी जम कर पिटाई की गयी. बताया जाता है कि ग्रामीणों ने अनिल को सार्वजनिक रूप से सजा देने का फैसला लिया. इसी के बाद गांव की पंचायत बैठी, जिसमें पांच पंचों ने सजा का ऐलान किया. सार्वजनिक रूप से उठक-बैठक के बाद पंचों ने अनिल को मुक्त करने का निर्देश दिया.