23.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

नांटू जीते, वार्ड 31 में तृणमूल हारी

सिलीगुड़ी: वार्ड 11 के वासियों ने नांटू पाल की राजनैतिक नैय्या को डूबने से बचा लिया. उन्हें इतनी बड़ी जीत की उम्मीद न थी. चुनाव में कांग्रेस की हालत पहले की तुलना में काफी खराब देखी गयी. गौरतलब है कि इस वार्ड में कुल 2 हजार 552 मतदाता थे जिसमें 1932 ने अपने मताधिकार का […]

सिलीगुड़ी: वार्ड 11 के वासियों ने नांटू पाल की राजनैतिक नैय्या को डूबने से बचा लिया. उन्हें इतनी बड़ी जीत की उम्मीद न थी. चुनाव में कांग्रेस की हालत पहले की तुलना में काफी खराब देखी गयी. गौरतलब है कि इस वार्ड में कुल 2 हजार 552 मतदाता थे जिसमें 1932 ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया था.

1932 में मतादाताओं में से तृणमूल के उम्मीदवार नांटू पाल को 1101 वोट मिले. द्वितीय स्थान पर वाममोरचा की उम्मीदवार उमा गोयल रही. उन्हें 394 वोट मिले. तीसरा स्थान कांग्रेस के सौरभ भट्टाचार्य का रहा. सौरभ को 321 वोट मिले. भारतीय जनता पार्टी के नंदन दास को 40 वोट मिले. नांटू पाल 707 वोट से चुनाव जीतने में सफल रहे. इस जीत पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुये नांटू पाल ने कहा कि मैं जानता था कि मेरे वार्ड के लोग मुझे निराश नहीं करेंगे. मुझे 300 वोट से बढ़त मिल सकती है. लेकिन 707 की मैंने कल्पना ही नहीं की थी. इस जीत से तृणमूल को सिलीगुड़ी नगर निगम में 15 सीट हो गये. अब वह निगम में दूसरी हो गयी.

दूसरी ओर 31 नं. वार्ड तृणमूल के हाथ फिसल गया. गौरतलब है कि यह तृणमूल का गढ़ था. लेकिन वार्ड 31 की तृणमूल पार्षद चैताली सेन शर्मा के इस्तीफा के बाद से यहां के निवासी उपेक्षित रहे. पार्षद विहीन इस वार्ड के लोगों ने वाम की उम्मीदवार दीपा विश्वास को चुनाव में जीत दिलायी. इस वार्ड में तृणमूल की उम्मीदवार जोना बख्शी को 3 हजार 39 वोट मिले. कांग्रेस की पीयू को 528 और बीजेपी की पुष्पा दास को 314 वोट मिले. दीपा 1139 वोट से बढ़त मिली. इस वार्ड में कुल 10 हजार 297 मतदाता थे. विजयी उम्मीदवार दीपा विश्वास ने बताया कि अपने वार्ड को सुंदर बनाकर रखूंगी. इस वार्ड में सड़क, बिजली, परिसेवा आदि की अनेक समस्या है. इसे दुरूस्त करूंगी.

पूर्व नगर विकास मंत्री अशोक नारायण भट्टाचार्य ने उपचुनाव के नतीजों पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि वार्ड 11 में हम हारेंगे, यह हम जानते थे. कारण यह वार्ड व्यवसायियों का वार्ड है. और वह जो अवैध चीज हमसे करवाना चाहते है, वह हमसे नहीं होगा. इसके लिए नांटू ही ठीक है. हमारी उम्मीदवार दूसरे स्थान पर रही है. हम खुश है. वहीं दूसरीे ओर वार्ड 31 में तृणमूल के खिलाफ वोट देकर जनता ने जवाब दे दिया कि जनता सेवा चाहती है. चार साल से यहां कोई पूछने तक नहीं आया. चुनाव के समय तृणमूल को इसकी याद आयी. लोग जान गये है कि कौन सेवा देता है और कौन मेवा खाता है. जहां तक बोर्ड गठन का प्रश्न है. हम न तृणमूल का समर्थन करेंगे, न कांग्रेस का. हम विपक्ष में है, और विपक्ष में रहेंगे. छह माह के भीतर सिलीगुड़ी नगर निगम चुनाव होगा ही.

उत्तर बंग विकास मंत्री गौतम देव 11 नं. में अपनी जीत पर प्रसन्न होते हुये कहा कि वार्ड 11 में नांटू ने काम किया है. इसलिए जनता ने उन्हें वोट दिया. सिलीगुड़ी नगर निगम में अल्पसंख्यक कांग्रेस केवल पद को लेकर बैठी हुई है. एक या दो दिसंबर को हम अविश्वास प्रस्ताव लायेंगे. उनसे पूछे जाने पर कि तृणमूल के पास संख्या बल अब भी नहीं है. यदि वाम, कांग्रेस का समर्थन करे तो क्या करेंगे? उन्होंने कहा कि हम बोर्ड का गठन करेंगे. और हमारे पास संख्या भी होगा. दिसंबर में ही पर्दा उठेगा कि कांग्रेस या वाम से कौन-कौन पार्षद तृणमूल के महल में जाते है. वैसे 15 सीटों के साथ वें दोनों राजनीतिक पार्टियों के पार्षदों को अपनाने के लिए तैयार है.

सुबह- सुबह दुखद खबर तथा दोनों वार्ड में तीसरे पायदन पर रहने वाली कांग्रेस की मेयर गंगोत्री दत्ता ने बताया कि हम हारेंगे, इसकी आशंका नहीं थी. लेकिन वह भी हमें इतने कम वोट मिलेंगे, हमने सोचा नहीं था. चुनाव प्रचार के दौरान हमने देखा ही था कि मंत्री किस तरह नियमों का उल्लंघन कर रहें थे. प्रशासन भी सत्ता पक्ष के साथ है. जहां तक तृणमूल द्वारा अविश्वास लाने की बात है, या बोर्ड गठन की बात है, इसे लेकर आलोचना होगी. लेकिन बोर्ड नहीं टूटेगा. वहीं चुनावी नतीजे आने के बाद नौकाघाट में तृणमूल व वाम समर्थकों में झड़प हुई. पुलिस ने हल्का लाठीचार्ज भी किया.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें