हावड़ा: झाड़-फूंक के जरिये मृत बच्ची फिर से जीवित हो उठेगी, इसी उम्मीद में मां अपनी बच्ची के शव को तीन दिनों तक सीने से लगाये रखी. वह शव को एक तांत्रिक के दिये तेल व पानी को पिलाती रही.
उससे मालिश करती रही. गांव वालों के मुताबिक : हमने बच्ची की मां को काफी समझाया कि यह अंधविश्वास है. बेटी मर चुकी है, अब जिंदा नहीं हो सकती. शव को दफना देना चाहिए. लाख समझाने के बावजूद वह अपनी बेटी को खुद से अलग नहीं होने दे रही थी. बेटी के जिंदा होने जाने के अंधविश्वास में वह खीझ उठती और उसे तांत्रिक के दिये तेल व पानी पिलाते हुए दुलारने लगती. आखिरकार, पुलिस को खबर देनी पड़ी. पुलिस के हस्तक्षेप के बाद लगभग 90 घंटे बाद बच्ची के शव को दफनाया गया. घटना उलबेड़िया थाना अंतर्गत रघुदेवपुर के पूर्व पाड़ा इलाके की है. मृत बच्ची का नाम परीनिता सांतरा (5) है. पुलिस ने बताया कि तांत्रिक के खिलाफ शिकायत दर्ज नहीं हुई है. हालांकि उसकी तलाश की जा रही है.
क्या है घटना
परीनिता पीलिया से पीड़ित थी. उसे कोलकाता मेडिकल कॉलेज में दाखिल कराया गया. शुक्रवार को उसकी मौत हो गयी. डॉक्टर ने मृत्यु प्रमाणपत्र भी जारी कर दिया. मृत बच्ची के पिता जयदेव सांतरा व मां रीना बेटी के शव को लेकर उलबेड़िया लौटने लगे. रास्ते में मां रीना को एहसास हुआ कि परीनिता जीवित है. रीना बच्ची को लेकर गादियारा स्थित एक तांत्रिक के पास पहुंची.
वहां तांत्रिक ने रीना को एक किस्म का तेल व पानी दिया. तांत्रिक ने बताया कि तेल व पानी का सेवन करने के बाद बच्ची फिर से जीवित हो जायेगी. तेल व पानी लेकर शुक्रवार रात दंपती घर पहुंचे. तांत्रिक के कहे अनुसार रीना तेल व पानी बच्ची के बदन पर लगाने लगी. रविवार को इस घटना की जानकारी ग्रामीणों को मिली. रविवार तक पड़ोसियों को भी बच्ची की जिंदा होने की उम्मीद थी, लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं हुआ. सोमवार को पड़ोसियों ने रीना व जयदेव को समझाया, लेकिन दंपती कुछ भी समझने से इनकार कर रहे थे. खबर पुलिस को दी गयी. सोमवार दोपहर मौके पर पहुंची पुलिस ने दंपती को समझाया. आखिरकार बच्ची के शव को उसके माता-पिता की उपस्थिति में दफनाया गया. पुलिस उस तांत्रिक की तलाश कर रही है, जिसने झूठा आश्वासन दंपती को दिया था.