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बल प्रयोग पड़ेगा महंगा : सूर्यकांत
12 घंटे की हड़ताल के आह्वान पर वाम मोरचा अडिग, बोले सूर्यकांत देशव्यापी परिवहन हड़ताल को भी समर्थन राज्य सरकार पर हड़ताल प्रभावित करने का आरोप कोलकाता : नगर निकाय चुनाव में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस द्वारा गड़बड़ी व बूथ कैप्चर का आरोप लगाते हुए वाम मोरचा ने गुरुवार को 12 घंटे यानी सुबह छह बजे […]
12 घंटे की हड़ताल के आह्वान पर वाम मोरचा अडिग, बोले सूर्यकांत
देशव्यापी परिवहन हड़ताल को भी समर्थन
राज्य सरकार पर हड़ताल प्रभावित करने का आरोप
कोलकाता : नगर निकाय चुनाव में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस द्वारा गड़बड़ी व बूथ कैप्चर का आरोप लगाते हुए वाम मोरचा ने गुरुवार को 12 घंटे यानी सुबह छह बजे से शाम छह बजे तक राज्य में हड़ताल का आह्वान किया है.
राज्य में माकपा के सचिव डॉ सूर्यकांत मिश्र ने आम हड़ताल का जिक्र करते हुए कहा कि तृणमूल नेतृत्ववाली राज्य सरकार इसे प्रभावित करने की कोशिश कर रही है. आंदोलन व हड़ताल आम लोगों का लोकतांत्रिक अधिकार है. राज्य में लोगों के लोकतांत्रिक अधिकारों के हनन की कोशिश जारी है. वाम मोरचा ने चेतावनी दी है कि यदि हड़ताल के दौरान राज्य सरकार बल प्रयोग करेगी, तो उसे भारी विरोध का सामना करना पड़ेगा.
सूर्यकांत मिश्र ने कहा कि राज्य सरकार रवींद्र भारती और कलकत्ता विश्वविद्यालय की परीक्षा और आइपीएल मैच का हवाला देकर बंद का विरोध कर रही है. लेकिन गुरुवार को ही एकदिवसीय देशव्यापी परिवहन हड़ताल भी है. ऐसे में परीक्षार्थियों की सुविधाओं के लिए राज्य सरकार परीक्षा की तारीख परिवर्तित कर सकती थी, लेकिन नहीं किया.
परीक्षार्थियों का भी नहीं रखा ख्याल
उन्होंने कहा कि आम हड़ताल के दौरान परीक्षार्थियों को परेशानी नहीं हो इसका ध्यान रखा जायेगा. हालांकि वाम मोरचा ने देशव्यापी परिवहन हड़ताल का भी समर्थन किया है. परीक्षार्थियों से अनुरोध किया गया है कि वे अपने साथ एडमिट कार्ड व पहचान पत्र रखें, ताकि बंद के दौरान उनकी पहचान हो सके. कथित तौर पर राज्य सरकार द्वारा हड़ताल के दौरान सरकारी कर्मचारियों को काम पर आने को लेकर जारी सकरुलर के मुद्दे पर सूर्यकांत मिश्र ने कहा कि श्रमिक हड़ताल व आंदोलन कर सकते हैं. यह उनका लोकतांत्रिक अधिकार है.
आरोप के मुताबिक मुख्यमंत्री ममता बनर्जी नेतृत्ववाली तृणमूल सरकार संविधान विरोधी है. पूर्व वाम मोरचा सरकार के सत्ता में रहने के दौरान तृणमूल कांग्रेस ने भी बंगाल में आम हड़ताल किया था, लेकिन तत्कालीन सरकार ने किसी भी व्यक्ति पर दबाव बनाने की कोशिश नहीं की. राज्य में अराजकता का माहौल है. श्रमिक वर्गो को जबरदस्ती काम पर लाने कीकोशिश गलत है. यदि किसी श्रमिकों पर ऐसा दबाव बनाने की कोशिश की जायेगी, तो वे हाइकोर्ट में मामला कर सकते हैं.
उन्होंने कहा कि वाम मोरचा के बंगाल बंद का अन्य कुछ विपक्षी दलों ने नैतिक समर्थन किया है. गुरुवार को माकपा की कोलकाता जिला कमेटी की ओर से मौलाली मोड़ के निकट से जुलूस निकाला जायेगा, जो धर्मतल्ला में समाप्त होगा.
वृहत्तर लोकतांत्रिक गंठबंधन का आह्वान
कोलकाता : नवगठित भारतीय न्यायविचार पार्टी ने तृणमूल कांग्रेस को रोकने के लिए एक वृहत्तर लोकतांत्रिक गंठबंधन का आह्वान किया है. पार्टी के अध्यक्ष अब्दुर रज्जाक मोल्ला ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि नगरपालिका चुनाव ने यह साबित कर दिया है कि किसी एक दल अथवा दो दलों के किसी गंठबंधन में तृणमूल को रोकने की क्षमता नहीं है. यह एक बड़ी लड़ाई है. 2016 में राज्य को तृणमूल के कुशासन से मुक्त करने के लिए एक व्यपाक गंठबंधन की जरूरत है, जिसमें शामिल होने के लिए वह सभी लोकतांत्रिक दलों से आह्वान कर रहे हैं.
श्री मोल्ला ने कहा कि चूंकि भाजपा एक लोकतांत्रिक व धर्मनिरपेक्ष दल नहीं है, इसलिए इस गंठबंधन में भाजपा के लिए कोई जगह नहीं होगी. कांग्रेस व वामपंथी दल इस गंठबंधन का हिस्सा हो सकते हैं. इसके लिए वे सभी दलों को पत्र लिखेंगे और नेताओं से व्यक्तिगत रूप से भी भेंट करने की उनकी योजना है. श्री मोल्ला ने कहा कि लोकतंत्र को बचाना जरूरी है.
लोकतंत्र की रक्षा के लिए वह कुछ भी करने के लिए तैयार हैं. कुछ दलों के साथ उनकी बातचीत शुरू भी हो गयी है. श्री मोल्ला ने बताया कि 30 अप्रैल की हड़ताल को उनकी पार्टी का पूरा समर्थन है. जरूरत पड़ने पर वह अपने कार्यकर्ताओं के साथ रास्ते पर उतर कर भी हड़ताल का समर्थन करेंगे.
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