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अरविंद केजरीवाल से प्रेरित हुए आइआइटी के छात्र, पॉलिटिक्स में बनायेंगे कैरियर
कोलकाता : दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदी पार्टी (आप) नेता व आइआइटी के पूर्व छात्र अरविंद केजरीवाल की धमाकेदार जीत से आइआइटी खड़गपुर के कुछ छात्र काफी प्रभावित हैं. अब वह करियर के रूप में राजनीति के विकल्प पर भी विचार कर रहे हैं. आइआइटी खड़गपुर में मेकैनिकल इंजीनियरिंग के तृतीय वर्ष के छात्र […]
कोलकाता : दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदी पार्टी (आप) नेता व आइआइटी के पूर्व छात्र अरविंद केजरीवाल की धमाकेदार जीत से आइआइटी खड़गपुर के कुछ छात्र काफी प्रभावित हैं. अब वह करियर के रूप में राजनीति के विकल्प पर भी विचार कर रहे हैं.
आइआइटी खड़गपुर में मेकैनिकल इंजीनियरिंग के तृतीय वर्ष के छात्र अटल आशुतोष अग्रवाल ने कहा कि आइआइटी से स्नातक करने के बाद मेरे सामने राजनीति भी विकल्पों में से एक है. केजरीवाल ने साबित कर दिया है कि आइआइटी और इंजीनियरिंग पृष्ठभूमि के लोग भी राजनीति में सफल हो सकते हैं.
दिल्ली निवासी आशुतोष के मन में राजनीति के प्रति तब रुझान पैदा हुआ, जब उन्होंने आइआइटी खड़गपुर के ही पूर्व छात्र अरविंद केजरीवाल को सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे के साथ भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ते देखा. पहले ही आम आदमी पार्टी (आप) में शामिल हो चुके आशुतोष ने कहा कि केजरीवाल ने हमारे लिए राजनीति में प्रवेश आसान बना दिया है. उन्होंने हमें एक मार्ग दिखाया है और वह एक प्रेरणा हैं.
दिल्ली विधानसभा चुनाव में ऑनलाइन और फोन पर प्रचार अभियान में आप की मदद करने वाले जीओ-फिजिक्स के द्वितीय वर्ष के छात्र लोकेश देशमुख ने कहा कि शीर्ष इंजीनियरिंग संस्थान से पार्टी में स्वयंसेवी के रूप में शामिल होने वाले छात्रों की संख्या बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि यह सब केजरीवाल की वजह से है, क्योंकि संस्थान परिसर में हर किसी के मन में उनके प्रति खास लगाव है, क्योंकि वह हमारे बीच से हैं. फेसबुक पर सैकड़ों युवा आइआइटियन राजनीतिक घटनाक्रमों और पार्टी से संबंधित मुद्दों पर चर्चा के लिए कम्युनिटी पेज आप आइआइटी खड़गपुर पर एकजुट हुए हैं. पेज पर 20 हजार से ज्यादा लाइक पहले ही आ चुके हैं. आइआइ परिसर में वैसे राजनीति वर्जित है, क्योंकि अंदर राजनीतिक गतिविधियों को अनुमति नहीं है.
केजरीवाल ने आइआइटी खड़गपुर से मेकैनिकल इंजीनियरिंग की थी. वह इसके नेहरु हॉल हॉस्टल में पांच साल रहे, जिसे सामाजिक एवं सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए जाना जाता है. आशुतोष ने कहा कि वह हिन्दी ड्रामैटिक्स सोसाइटी की बैठकों में नियमित तौर पर शामिल होते थे और जन संवाद, वाद विवाद आदि से संबंधित आयोजन में सक्रिय रहते थे. इससे उन्हें अच्छी वाक्पटुता मिली, जो अब राजनीतिक दुनिया में उनकी मदद कर रही है.
संस्थान के पूर्व निदेशक एवं केजरीवाल को पढ़ा चुके प्रोफेसर शंकर कुमार शोम ने कहा कि संस्थान में समग्र शिक्षा उपलब्ध करायी जाती है जिससे छात्र हर क्षेत्र में सफलता के शिखर छूते हैं. उन्होंने कहा कि पास आउट होने के बाद वह जो कैरियर चाहें अपना सकते हैं.
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