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रिटायर्ड शिक्षक के घर में डकैती
मालदा : चार महीने के बच्चे के सिर पर बंदूक तान कर एक रिटायर्ड स्कूल शिक्षक के घर में डकैती का मामला सामने आया है. डकैतों ने 20 तोला सोने के गहने व नगदी 25 हजार रुपये उड़ा लिये. शुक्रवार रात 12 बजे के आसपास चांचल थाना अंतर्गत नलकुपिया गांव में डकैती की घटना को […]
मालदा : चार महीने के बच्चे के सिर पर बंदूक तान कर एक रिटायर्ड स्कूल शिक्षक के घर में डकैती का मामला सामने आया है. डकैतों ने 20 तोला सोने के गहने व नगदी 25 हजार रुपये उड़ा लिये.
शुक्रवार रात 12 बजे के आसपास चांचल थाना अंतर्गत नलकुपिया गांव में डकैती की घटना को अंजाम दिया गया. करीब 40 मिनट तक नकाबपोशों ने शिक्षक के घर में लूटपाट चलायी.
बाद में घर से निकल कर घर के सामने बम विस्फोट कर भाग गये. चांचल थाना पुलिस को खबर दिये जाने के बाद भी पुलिस घटनास्थल पर नहीं पहुंची. पुलिस शनिवार सुबह गांव में जांच-पड़ताल करने गयी. इस दौरान पुलिस को स्थानीय लोगों के आक्रोश का सामना करना पड़ा.
पुलिस सूत्रों के अनुसार, रिटायर्ड शिक्षक का नाम बकुल चंद्र सरकार है. परिवार में उनकी पत्नी स्निग्धा सरकार, बेटा जगदीश सरकार, बहू व चार महीने का नातिन है. शुक्रवार रात को जब आंधी-तूफान के बीच डकैत घर की दीवार फांद कर अंदर आये और बकुल चंद्र सरकार के कमरे में घुस पड़े. शिक्षक व उनकी पत्नी के चिल्लाने पर बहू व बेटा भी ऊपर तल्ला से वहां पहुंच गये.
डकैतों ने तब उनके माथे पर बंदूक तान दी. चार महीने के बच्चे के माथे पर बंदूक तान कर डकैतों ने उसे जान से मारने की धमकी दी. इसके बाद परिवार के लोग चुप हो गये और डकैतों ने जमकर लूटपाट की. शिक्षक बकुल चंद्र सरकार ने बताया कि रात को जब बारिश हो रही थी तब ओला गिर रहा है या नहीं, यह देखने वह निकले और तभी देखा कि आंगन में आठ से 10 लोग हथियार के साथ खड़े हैं. उनलोगों ने शिक्षक को देखते ही उनका मुंह बंद कर दिया. फिर कमरे में घुस कर दो अलमारी तोड़ दिये.
आंधी-तूफान के कारण आसपास के लोगों को डकैती के बारे में पता नहीं चला, लेकिन बम विस्फोट की आवाज सुनते ही पड़ोसियों की नींद खुल गयी. शिक्षक का बेटा जगदीश सरकार ने बताया कि डकैतों ने उसके बेटे के माथे पर बंदूक व पत्नी के गले में तलवार रखा थी.
इसलिए किसी ने आवाज नहीं की. डकैती के बाद पुलिस को फोन किया गया, लेकिन पुलिस वहां नहीं पहुंची. चांचल थाना की पुलिस आज सुबह जांच के लिए आयी. इधर, पुलिस की भूमिका से गुस्साएं ग्रामीणों ने कहा कि पुलिस अगर समय पर आती तो डकैतों को पकड़ पाती. पुलिस अधीक्षक प्रसून बनर्जी ने बताया कि पुलिस के देर से पहुंचने का आरोप गलत है. उन्होंने यह भी कहा कि पुलिस ने किसी प्रकार का जनाक्रोश का सामना नहीं किया.
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