लालबाजार सूत्रों के मुताबिक 31 मार्च को इस दर्दनाक हादसे के बाद ब्रिज निर्माण कर रही कंपनी आइवीआरसीएल के 10 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था, जिनमें दो अधिकारी हैदराबाद के शामिल हैं. मौजूदा समय में अधिकतर गिरफ्तार आरोपियों को जमानत मिल चुकी है. वहीं इस ब्रिज के निर्माण पर निगरानी रखनेवाली राज्य सरकार की संस्था केएमडीए के भी अधिकारियों को गिरफ्तार किया गया है.
इसके बाद से इस घटना में शामिल आरोपियों को ज्यादा से ज्यादा सजा मिल सके, इसकी कोशिश में लालबाजार के अधिकारी जुटे हैं. कोलकाता पुलिस के एक वरिष्ठ आइपीएस अधिकारी बताते हैं कि इस घटना में जुड़े जितने भी पीड़ित हैं, उन्हें मुआवजे की रकम दिलाने के बाद अब पुलिस का मुख्य टारगेट आरोपियों को सख्त सजा दिलाना है. इसके लिए सुनवाई के दौरान अदालत में लगातार ठोस सबूत पेश किये जा रहे हैं. आइवीआरसीएल कंपनी को ब्रिज निर्माण का कांट्रैक्ट दिया गया था, उसे कई राज्यों में निगेटिव घोषित किया गया है. इससे संबंधित सबूत भी अदालत में पेश किये गये हैं. आरोपियों को सख्त सजा मिल सके, इसे लेकर उनके पास पर्याप्त सबूत हैं. इस हादसे में मृतकों व घायलों के परिवार को पूरी तरफ से इंसाफ दिलाने की कोशिश हो रही है.