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अफसर तलाशें शराब की दुकान सीओ-थानेदारों की भी मदद लें
सरकार की ओर से खुद शराब बेचने की तैयारी विकास रांची : मुख्य सचिव राजबाला वर्मा ने अफसराें काे खुदरा शराब दुकान तलाशने का निर्देश दिया है. उत्पाद अधिकारियाें के अलावा इस काम में अंचलाधिकारियाें आैर थाना प्रभारियाें की भी मदद लेने काे भी कहा गया है.सरकार द्वारा खुद ही खुदरा शराब बेचने के फैसले […]
सरकार की ओर से खुद शराब बेचने की तैयारी
विकास
रांची : मुख्य सचिव राजबाला वर्मा ने अफसराें काे खुदरा शराब दुकान तलाशने का निर्देश दिया है. उत्पाद अधिकारियाें के अलावा इस काम में अंचलाधिकारियाें आैर थाना प्रभारियाें की भी मदद लेने काे भी कहा गया है.सरकार द्वारा खुद ही खुदरा शराब बेचने के फैसले के बाद मुख्य सचिव राजबाला वर्मा की ओर से इस आशय का पत्र सभी जिलाें काे भेजा गया है. तीन दिनाें के अंदर इस पर रिपाेर्ट मांगी गयी है.
पत्र में कहा गया है कि सरकार कॉरपोरेशन के माध्यम से खुदरा शराब बेचने जा रही है. वर्ष 2017-18 की शुरुआत से इस फैसले को लागू करना है. इसलिए समय सीमा के अंदर इसे लागू करने के लिए युद्धस्तर पर आवश्यक तैयारी की जाये. उन्होंने निर्देश दिया है कि अफसर पहले से चल रहे शराब दुकानों के मालिकों से संपर्क स्थापित करें. साथ ही उन्हें अपनी दुकान किराये पर देने के लिए लिखित सहमति लें. जिन क्षेत्रों में एेसी संभावना न हो, उन क्षेत्रों में सरकारी जमीन तलाश पर संरचना तैयार करें.
हर दुकान के लिए आवश्यक कर्मचारियों की संख्या का आकलन करें. साथ ही दुकानों के चलाने पर होनेवाले खर्च (जैसे किराया, बिजली, सफाई आदि) का आकलन करें. इन सभी कार्यों काे कम समय में पूरा करना है, इसलिए इस काम में अंचलाधिकारी, उत्पाद अधिकारी और संबंधित क्षेत्र के थाना प्रभारियाें को जोड़ा जाये.
अवैध शराब की बिक्री न हाे
पत्र में अवैध शराब की बिक्री रोकने के लिए भी दिशा निर्देश दिया है. यह कहा गया है कि अवैध शराब की बिक्री से राजस्व का नुकसान होगा. इसलिए यह सुनिश्चित करें कि अवैध शराब की बिक्री न हो. किसी क्षेत्र में अवैध शराब की बिक्री होने पर उस क्षेत्र के थाना प्रभारी को जिम्मेवार बनाया जाये. मुख्य सचिव के निर्देश के बाद गुरुवार को उपायुक्ताें ने उत्पाद विभाग के पदाधिकारियों के साथ बैठक की और नयी प्रस्तावित व्यवस्था के विषय पर समीक्षा की.
सरकारी जमीन पर बनेगी शराब की दुकानें
सुप्रीम कोर्ट द्वारा नेशनल हाइवे पर स्थित शराब दुकानों को हटाने के आदेश का अमल भी नये वित्तीय वर्ष में होना है. ऐसे में इसके लिए भी राज्य सरकार ने वैकल्पिक व्यवस्था बनाने की तैयारी कर ली है. एनएच पर स्थित शराब दुकानों को अन्यत्र स्थल पर स्थानांतरित करने का निर्देश दिया गया है. इसके लिए स्थल चयन करने को कहा गया है. यह भी कहा है कि यदि ऐसा परिसर मिलने की संभावना दिखायी नहीं पड़ती है, तो सरकारी जमीन का चयन कर अस्थायी संरचना तैयार कर दुकान के रूप में परिवर्तित करने की संभावना तलाशी जाये.
शराबबंदी ही नहीं, नशाबंदी भी होनी चाहिए : सरयू राय
जमशेदपुर. राज्य सरकार द्वारा खुद शराब बेचने की प्रक्रिया के बारे में जानकारी नहीं है, लेकिन मेरा मानना है कि शराबबंदी ही नहीं, बल्कि नशाबंदी भी होनी चाहिए. मंत्री सरयू राय ने गुरुवार को बिष्टुपुर स्थित आवास पर उक्त बातें कही़ उन्होंने कहा कि मेरा मानना है कि भले ही करीब दो हजार करोड़ रुपये तक का नुकसान हो जाये, लेकिन सरकार को पूर्ण नशाबंदी कर देनी चाहिए. उनके ही विधानसभा क्षेत्र में नशा के कारण तीन घटनाएं हो चुकी हैं.
कोरेक्स समेत तमाम ऐसी नशा युवा वर्ग कर रहा है. उसे लेकर कोई कानून ही नहीं है. ऐसे में जरूरी है कि एक ठोस कानून बने, ताकि स्वस्थ समाज का निर्माण हो सके. शराबबंदी अगर लागू किया गया, तो परिवार भी बच जायेगा और लोगों का स्वास्थ्य भी बेहतर रहेगा. अब तक हम लोगों के पास यह प्रस्ताव नहीं आया है कि सरकार के स्तर पर शराब को बेचने का कोई फैसला लिया गया है.
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