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झारखंड में अब तक शुरू नहीं हो सका है पशुगणना का काम, और होगी देर

एक अक्तूबर से शुरू होना था काम, और 20 दिन देर होने की संभावना मनोज सिंह रांची : राज्य में पशुगणना का काम शुरू नहीं हो पाया है, जबकि एक अक्तूबर से शुरू होना था. फिलहाल यह काम अभी और 20 दिन देर से शुरू होने की संभावना है. पशुगणना का काम तीन माह में […]

एक अक्तूबर से शुरू होना था काम, और 20 दिन देर होने की संभावना
मनोज सिंह
रांची : राज्य में पशुगणना का काम शुरू नहीं हो पाया है, जबकि एक अक्तूबर से शुरू होना था. फिलहाल यह काम अभी और 20 दिन देर से शुरू होने की संभावना है.
पशुगणना का काम तीन माह में पूरा होना था. एेसा समय से टैबलेट नहीं खरीदे जाने के कारण हुआ है. पशुपालन विभाग ने टैबलेट खरीद के लिए आपूर्ति आदेश दे दिया है. खरीदारी होने के बाद ही पशुगणना का काम शुरू हो पायेगा. पशुगणना की पूरी स्कीम केंद्र सरकार से प्रायोजित है. इस पर खर्च होनेवाली पूरी राशि भारत सरकार को वहन करना है.
1750 टैबलेट लेने हैं विभाग को
इस काम के लिए पशुपालन विभाग को 1750 टैबलेट लेने हैं. भारत सरकार की प्रथम किस्त से 534 टैबलेट खरीद लिये गये थे. दूसरी किस्त के लिए भारत सरकार ने सितंबर माह के पहले सप्ताह में पैसा दिया. इसके बाद नयी स्कीम होने के कारण इसकी स्वीकृति राज्य प्राधिकृत समिति से ली गयी. इस प्रक्रिया में करीब डेढ़ माह गुजर गये. प्राधिकृत समिति से अनुमति मिलने के बाद आपूर्ति आदेश दिया गया है.
हर पांच साल में होती है गणना
जानकारी के मुताबिक पशुगणना का काम हर पांच साल में होता है. पिछली बार 2012 में पशुगणना का काम हुआ था. इस बार पशुगणना का काम अत्याधुनिक तरीके से हो रहा है. टैब में ऑनलाइन इंट्री का प्रावधान किया गया है.
इससे गलत इंट्री होने की गुंजाइश नहीं के बराबर रहेगी. टैब से ऑन होते ही उसमें अक्षांश और देशांतर भी दिखाने लगेगा. इससे गलत इंट्री करनेवाले पकड़े जायेंगे. इस काम में विभाग पशु चिकित्सकों के अतिरिक्त पारा वेट, एआइ वर्कर, मैत्री आदि को लगाया जा रहा है. सभी कर्मी एक-एक घर जाकर इंट्री करेंगे.
इस बार पशु गणना का काम टैबलेट से होना है. टैबलेट खरीद के लिए आपूर्ति आदेश दे दिया गया है. टैबलेट आने के बाद पशु गणना का काम शुरू कर दिया जायेगा. वैसे कई राज्यों से अब तक पशु गणना शुरू होने की सूचना नहीं आयी है.
चितरंजन कुमार, निदेशक, पशुपालन

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