खलारी : खरीफ फसल को लेकर खलारी प्रखंड सभागार में एकदिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया. अध्यक्षता प्रखंड प्रमुख रेणु देवी व संचालन प्रखंड तकनीकी प्रबंधक सुमन बारला ने की.
कार्यशाला में किसानों को खरीफ फसल की जानकारी, पौधों का संरक्षण व फसल बीमा से संबंधित जानकारी दी गयी. खरीफ में उगाये जानेवाले फसलों की अधिक से अधिक और उन्नत पैदावार के लिए किसानों के साथ विमर्श किया गया.
बीडीओ रोहित सिंह ने डोभा से किसानों को होनेवाले फायदे के बारे में बताया. कहा कि डोभा में एकत्रित पानी से किसान सिंचाई के साथ मछली पालन भी कर सकते हैं. उन्होंने फसल बीमा की भी जानकारी दी. बताया कि खरीफ 2016 के लिए विशेष रूप से प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना राज्य के 24 जिलों में संचालित की जा रही है. बताया कि ऋणी और गैर ऋणी किसान 31 जुलाई तक फसल बीमा करा सकते हैं. अगहनी धान व भदई फसल के लिए बीमा की जायेगी.
बीडीओ ने बताया कि इस बीमा के बाद फसल का जोखिम किसान को नहीं उठाना होगा, बल्कि सरकार व बीमा कंपनी जोखिम उठायेगी. पौधा संरक्षण अधिकारी ओमप्रकाश सिन्हा ने बताया कि खरीफ पौधों को कैसे बचाया जा सके. उन्होंने अरहर की खेती में पौधों के संरक्षण के बारे में बताया कि अरहर के पौधोंवाले खेत को जलजमाव नहीं चाहिए.
कीट व रोग से बचाने के लिए कीट नाशक के छिड़काव व श्री विधि से धान की खेती की जानकारी दी. प्रखंड कृषि पदाधिकारी महावीर बैठा ने अरहर की खेती पर विस्तार से चर्चा की. कहा कि मॉनसून की वर्षा होते ही अरहर की बोआई कर देनी चाहिए.
बताया कि सामान्यत: छिड़काव विधि से बीज बोये जाते हैं, लेकिन मेड़ विधि से अरहर लगाने से पैदावार अधिक होती है. धान के श्री विधि की भी विस्तृत जानकारी दी. प्रखंड सहकारिता पदाधिकारी विनोद कुमार झा ने केंचुआ खाद बनाने व उसके प्रयोग की जानकारी दी.
कार्यशाला में मौजूद लोग : कार्यशाला में उपप्रमुख एतवारा महतो, मुखिया बीना देवी, आशा देवी, पुतूल देवी, मानसी देवी, संजय आइंद, सुशीला देवी, प्रदीप उरांव, गोविंद उरांव, पंसस मुन्ना देवी, सिन्नी समाड, महेंद्र मुंडा, विशेश्वर मुंडा, कृष्णा राम, मुनिया देवी, उपमुखिया दीपक प्रसाद, किरण देवी, कृषक मित्र विश्वनाथ गंझू, शत्रुध्न मुंडा, पंकज मुंडा, मदन चौहान आदि उपस्थित थे.