जमशेदपुर: जुगसलाई के स्वर्ण व्यापारी सुखी प्रसाद सत्यनारायण और उनके परिवार के लोगों के पांच ठिकानों पर चल रही छापामारी शनिवार की दोपहर समाप्त हो गयी. आयकर विभाग के अधिकारियों को अब तक 12.50 करोड़ रुपये की अघोषित संपत्ति का पता चला है, जिसको खुद व्यापारी परिवार ने स्वीकार कर लिया है.
12.50 करोड़ रुपये की संपत्ति में 7.50 करोड़ रुपये का सोना शामिल है, जिसका वजन करीब दस किलो बताया जा रहा है. आयकर विभाग के अन्वेषण पदाधिकारी ने इसकी पुष्टि की है. करीब दस किलो का सोना मिला है, जिसके कागजात परिवार पेश नहीं कर सका.
शुक्रवार को शुरू हुई छापामारी शनिवार को दोपहर करीब एक बजे तक चली. सुखी प्रसाद सत्यनारायण ज्वेलर्स की दुकान पर बीती रात ही छापामारी बंद हो गयी थी. इसके अलावा जुगसलाई गौशाला के समीप स्थित आवास पर भी छापामारी की गयी, जिसमें पूरे परिवार का करीब 50 बैंक एकाउंट के बारे में पता चला. होटल कनिष्क में भी कई ट्रांजेक्शन ऐसे पाये गये जो पूरी तरह कच्चे कागजातों में किये जा रहे थे. टिंबर मिल में भी कई दस्तावेज ऐसे पाये गये हैं, जिसका कोई भी चालान सही नहीं है और कई दस्तावेज भी नहीं है. गोदाम में कई बेशकीमती सामान भी बरामद किये गये हैं. आयकर विभाग के अन्वेषण के डिप्टी डायरेक्टर अजय कुमार के नेतृत्व में छापामारी की गयी, जिसमें कई नयी जानकारियां हाथ लगी है. सारे दस्तावेजों का अध्ययन किया जा रहा है.
एक लॉकर खुलने पर कई अन्य गहने मिलने की उम्मीद
सुखी प्रसाद सत्यनारायण के एक लॉकर का पता चला है. इस लॉकर में भी कई गहने मिलने की उम्मीद जतायी जा रही है, जिसकी जांच आयकर अधिकारी सोमवार को कर सकते हैं. दस्तावेजों से भी कुछ जानकारी मिल सकती हैं.
सूद पर पैसे भी देते हैं
छापामारी में मिले दस्तावेज की जांच से इस बात की जानकारी मिली कि इन दोनों व्यापारियों की ओर से जेवर के अलावा सूद का कारोबार(मनी लाउंड्रिंग) भी किया जाता है. इन व्यापारियों ने लोगों को सूद पर तीन करोड़ रुपये दे रखा है.