प्रतिनिधिमंडल में अशोक साव, उदय प्रताप सिंह, सुरेंद्र अरोड़ा, दीपक कुमार दीपू, अजय नारायण लाल, मो सोहराब, शिवाशीष पांडेय, प्रेम कुमार, आशीष वर्मा, विनोद अग्रवाल, राम प्रताप शर्मा, मो मुर्तजा, जय प्रकाश चौहान, दिनेश हेलीवाल, संजय लोधा, राज सिन्हा, मधुरेंद्र कुमार सिंह, विनोद गुप्ता, विका कंधवे के अलावा जिले के चेंबर के पदाधिकारी मौजूद थे.
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चेंबर ने खोला ऊर्जा विभाग का कच्चा चिट्ठा
धनबाद: फेडरेशन ऑफ धनबाद जिला चेंबर ऑफ काॅमर्स का एक प्रतिनिधिमंडल बुधवार को ऊर्जा विभाग के महाप्रबंधक पीआर रंजन से मिला और उन्हें ज्ञापन सौंपा. ज्ञापन मुख्यमंत्री के नाम था. इनलोगों ने ज्ञापन संबंधित बिंदुओं पर चर्चा की. प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व जिला चेंबर के अध्यक्ष राजेश गुप्ता एवं महासचिव चेतन गोयनका कर रहे थे. महाप्रबंधक […]
धनबाद: फेडरेशन ऑफ धनबाद जिला चेंबर ऑफ काॅमर्स का एक प्रतिनिधिमंडल बुधवार को ऊर्जा विभाग के महाप्रबंधक पीआर रंजन से मिला और उन्हें ज्ञापन सौंपा. ज्ञापन मुख्यमंत्री के नाम था. इनलोगों ने ज्ञापन संबंधित बिंदुओं पर चर्चा की. प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व जिला चेंबर के अध्यक्ष राजेश गुप्ता एवं महासचिव चेतन गोयनका कर रहे थे.
महाप्रबंधक ने प्रतिनिधिमंडल को ऊर्जा विभाग की विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी. बताया कि केंद्र सरकार की योजना के तहत शहरी क्षेत्रों में अंडर ग्रांउड तार बिछाये जायेंगे तथा 607 नये ट्रांसफॉर्मर लगाये जायेंगे.
मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन में क्या
धनबाद डीवीसी के कमांड एरिया में है और डीवीसी बकाया, मरम्मत और ब्रेक डाउन को आधार बनाकर शेडिंग करता रहता है.
डीवीसी की कटौती के बाद जो बिजली मिलती है उसे भी झारखंड ऊर्जा निगम निर्बाध रूप से देने में अक्षम साबित हो रहा है.
हल्की बारिश के बाद लाइन ब्रेक डाउन हो जाती है जिसे ढूंढ़ने में घंटों लग जाते हैं.
जगह-जगह ट्रांसफॉर्मर जलने के बाद इलाका हफ्तों तक अंधकार में रहता है.
किसी भी ट्रांसफॉर्मर में एबी स्विच नहीं लगा हुआ है, जिसके कारण एक उपभोक्ता का लाइन ब्रेक डाउन के चलते सब स्टेशन से शट डाउन लिया जाता है.
विद्युत विभाग में सप्लाई कर्मचारियों के अभाव के कारण फॉल्ट रिपेयर एवं मेंटेनेंस का कार्य समयावधि में नहीं हो पा रहा है. इसके कारण 24 घंटे में 16 घंटे बिजली नहीं रह पा रही है.
डीवीसी से वार्ता कर निर्बाध विद्युत आपूर्ति की व्यवस्था की जाय.
ट्रांसफॉर्मर में एबी स्विच लगाया जाय.
ट्रांसफॉर्मर बदली करने के लिए धनबाद में क्रेन एवं गाड़ी की व्यवस्था विभागीय स्तर से की जाय.
झारखंड विद्युत वितरण में स्थायी कर्मचारियों की नियुक्ति की जाय, जिससे उपभोक्ताओं की समस्याओं का समाधान शीघ्रता से हो जायेगा.
सरकार के निर्णय के अनुसार वितरण निजी व्यवस्था के तहत हो.
ग्रामीण क्षेत्रों में बीपीएल परिवार में फिक्स्ड रेट में बिजली दी जाय पर वहां भी मीटर लगाकर सरकार उसकी क्षतिपूर्ति विद्युत वितरण लिमिटेड को करे जिससे डीवीसी को समय पर भुगतान हो सके.
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