धनबाद: डीमार्क हेल्थ केयर प्राइवेट लिमिटेड दिल्ली द्वारा ‘जोश ऐसा जो मदहोश कर दे ’नामक शीर्षक से आपत्तिजनक विज्ञापन दिये जाने के मामले में गुरुवार को मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी एसके पांडेय की अदालत ने संज्ञान लेकर केस अभिलेख विचारण के लिए न्यायिक दंडाधिकारी कुलदीप की अदालत में भेज दिया.
औषधि निरीक्षक सुरेंद्र प्रसाद ने 18 अप्रैल को अदालत में डीमार्क हेल्थ केयर प्राइवेट लिमिटेड के महाप्रबंधक रजनीश झा, निदेशक विश्वजीत शर्मा, मेसर्स डीमार्क हेल्थ केयर प्रा. लि. व मेसर्स संजीवनी ड्रग्स एमआइई बहादुरगढ़ के खिलाफ सीओ केस 13/13 दर्ज कराया था. निदेशक प्रमुख औषधि नियंत्रण निदेशालय रांची के पत्रंक 309 (डी) दिनांक 16 अप्रैल 13 के आदेश के आलोक में आरोपियों के खिलाफ अभियोजन चलाने का आदेश दिया गया. औषधि निरीक्षक श्री प्रसाद ने 4 अप्रैल 13 को मेसर्स सिंघानियां डिस्ट्रीब्यूटर्स जोड़ाफाटक के यहां निरीक्षण कर मूसली प्रो नामक दवा, जिसका बैच नंबर-एमपीसी-012, मैनुफैक्चरिंग तिथि जनवरी 12 व एक्सपायरी तिथि दिसंबर 14 है, को जब्त किया.
सीबीआइ को लगा झटका, पोस्टमैन रिहा : सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश द्वितीय प्रवीण कुमार सिन्हा की अदालत ने गुरुवार को एक ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए बांसजोड़ी पोस्ट ऑफिस पाकुड़ के अस्थायी पोस्ट मैन रामनारायण साह को निदरेष पाकर रिहा कर दिया. अभियोजन की ओर से सीबीआइ के लोक अभियोजक कुंदन कुमार सिन्हा ने 12 गवाहों का परीक्षण कराया.
बचाव पक्ष के अधिवक्ता भीम सिंह ने गवाहों का प्रति परीक्षण कर केस को झूठा साबित करने में सफलता पायी. पाकुड़ जिला निवासी निर्मल कुमार साह ने वर्ष 2008 में आरोपी पर पोस्ट ऑफिस में पीउन की नौकरी दिलाने के लिए दो हजार रुपये रिश्वत मांगने की शिकायत सीबीआइ रांची शखा से की थी. सीबीआइ ने 20 जनवरी 09 को आरोपी को रिश्वत लेते धर दबोचा था.
जानलेवा हमला में केस डायरी की मांग : रंगदारी की मांग को लेकर जानलेवा हमला करने के मामले में जेल में बंद पाथरकुआं पंचायत की मुखिया अनिता गोराई व उसके पति रोबिन गोराई की ओर से दायर नियमित जमानत अर्जी पर प्रभारी प्रधान जिला व सत्र न्यायाधीश पीके उपाध्याय की अदालत में गुरुवार को सुनवाई हुई. अभियोजन ने अदालत में केस डायरी प्रस्तुत नहीं की. अदालत ने सुनवाई की अगली तिथि 2 मई मुकर्रर की.