मुख्य सचिव के पास इस बात की शिकायत पहुंची थी कि जीटी रोड की पुलिस के संरक्षण में कोयला का अवैध धंधा चल रहा है. शिकायत यह भी थी कि निरसा की विभिन्न कोलियरियों से चुराया गया कोयला इन भट्ठों में खपाया जाता है. इससे सरकारी राजस्व की हानि हो रही है. मुख्य सचिव ने इस संबंध में उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडल के आयुक्त को निर्देश दिया था.
आयुक्त ने डीसी कृपानंद झा को कोयला तस्करी पर अंकुश लगाने का निर्देश दिया. उपायुक्त के निर्देश पर सदर अनुमंडल अधिकारी ने तीन टीमें गठित कीं. पहली टीम में गोविंदपुर बीडीओ संजीव कुमार, सीओ प्रेम कुमार तिवारी, डीएसपी मुकेश महतो, सार्जेट मेजर विजय सिंह, धनबाद प्रखंड के बीसीओ देवेंद्र सिंह, एमओ भोगेंद्र झा शामिल थे. टीम ने दलदली में क्यूम अंसारी, परासी में सिराज अंसारी, तेतुलिया में संजय सिंह के भट्ठे पर छापेमारी की. यहां कोयला का एक ढेला तक बरामद नहीं हुआ.
अधिकारियों ने स्टॉक रजिस्टर के साथ वहां मौजूद कोयला के स्टॉक का मिलान किया. बाबा विश्वनाथ उद्योग जोराडीह, संचालक संतोष मंडल व अशोक तिवारी का बीरसिंहपुर स्थित भट्ठा बंद पाया गया. अधिकारियों ने उद्योग संचालकों को अन्य कागजातों के साथ प्रखंड परिसर में उपस्थित होने का आदेश दिया. कागजातों की पड़ताल की जा रही है. दूसरी टीम में इंस्पेक्टर एसके सिंह, सीओ श्री लायक, तोपचांची के एमओ श्री सिंह थे. टीम ने कालूबथान क्षेत्र के तीन भट्ठों पर छापा मारा. अधिकारियों ने कहा कि सांगामहल स्थित जय मां काली इंडस्ट्री, संचालक राजेश मंडल, जय मां काली फ्यूल्स सोगेडीह, संचालक रामाशंकर सिंह व मां तारा इंडस्ट्रीज खोखरा पहाड़ी, संचालक रोबीन गोराईं के उद्योग में जांच की गयी.