कागजात की जांच की गयी तो यह मामला सामने आया. राशि रिकवरी के लिए लाभुकों को नोटिस किया गया तो 30 लाभुकों ने पैसा वापस लौटा दिया. कुछ लाभुक आज भी पैसा दबा कर रखे हैं. जांच चल रही है. और भी फर्जीवाड़ा का मामला सामने आने की संभावना है.
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नोटिस के बाद 30 लाभुकों ने लौटायी राशि
धनबाद: प्रधानमंत्री आवास योजना में फर्जीवाड़ा का मामला सामने आया है. जमीन विवाद होने के बावजूद 49 लाभुकों के एकाउंट में योजना की पहली किस्त ट्रांसफर कर दी गयी है. कागजात की जांच की गयी तो यह मामला सामने आया. राशि रिकवरी के लिए लाभुकों को नोटिस किया गया तो 30 लाभुकों ने पैसा वापस […]
धनबाद: प्रधानमंत्री आवास योजना में फर्जीवाड़ा का मामला सामने आया है. जमीन विवाद होने के बावजूद 49 लाभुकों के एकाउंट में योजना की पहली किस्त ट्रांसफर कर दी गयी है.
कागजात की जांच की गयी तो यह मामला सामने आया. राशि रिकवरी के लिए लाभुकों को नोटिस किया गया तो 30 लाभुकों ने पैसा वापस लौटा दिया. कुछ लाभुक आज भी पैसा दबा कर रखे हैं. जांच चल रही है. और भी फर्जीवाड़ा का मामला सामने आने की संभावना है.
कुछ पार्षद व निगमकर्मियों की मिलीभगत से हुआ खेल : कुछ पार्षद व निगम के कर्मी की मिलीभगत से यह खेल हुआ. कागजात की जांच किये बगैर लाभुक के एकाउंट में पैसा ट्रांसफर कर दिया गया. बरमसिया की एक महिला लाभुक का पहले से आवास था और उन्हें आवास योजना की तीन किस्त तक जारी कर दी गयी. इसी तरह कई और मामले हैं. योजना में मिल रही गड़बड़ी की शिकायत के बाद सहायक नगर आयुक्त कृष्ण कुमार को इसकी जिम्मेवारी सौंपी गयी. श्री कुमार ने सभी लाभुकों के कागजात की जांच शुरू की तो इस तरह के मामले सामने आये. 1200 लाभुकों के कागजात की जांच में 49 लाभुकों के कागजात त्रुटिपूर्ण थे. उसमें जमीन विवाद भी शामिल था.
जमीन एग्रीमेंट पर भी योजना का लिया लाभ : जमीन की एग्रीमेंट कॉपी के आधार पर भी दर्जनों लाभुकों ने योजना का लाभ ले लिया था. हालांकि जांच में उनका फॉर्म रिजेक्ट कर दिया गया.
जीरो टैगिंग नहीं होने के कारण हुआ खेल
जीरो टैगिंग नहीं होने के कारण योजना में फर्जीवाड़ा हुआ. एक लाभुक का अपना आवास था. इसके बावजूद उसे योजना का लाभ दे दिया गया. आवास की प्लिंथ कहीं और और लिंटर कहीं और का दिखा कर योजना की तीन किस्त की राशि ले ली गयी. जनप्रतिनिधि व निगमकर्मी की मिलीभगत से यह खेल हुआ. जब लाभुक से मोटा कमीशन मांगा गया तो लाभुक ने पूरा पैसा सरेंडर करने का फैसला लिया.
भू-दान व सीएनटी की जमीन के लिए मांगा गया ब्योरा
भू-दान व सीएनटी की जमीन के लिए सीओ से ब्योरा मांगा गया है. आवास योजना के लिए सैकड़ों लाभुकों ने भू-दान व सीएनटी की जमीन खरीदारी का कागजात के साथ भी आवेदन किया है. सीओ से जमीन का ब्योरा मिलने के बाद आगे की प्रक्रिया शुरू की जायेगी.
23 फॉर्म रिजेक्ट हुए
अब तक 1200 आवेदन की जांच की गयी. 49 ऐसे आवेदन थे, जिसकी जमीन विवादित थी. इनमें कुछ लाभुक योजना के प्रति रुचि नहीं ले रहे थे. 23 फॉर्म को रिजेक्ट कर दिया गया है. शेष फॉर्म को रिजेक्ट करने की प्रक्रिया चल रही है.
कृष्ण कुमार, सहायक नगर आयुक्त
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