देवघर: मोहनपुर थाना स्थित रिखिया में पश्चिम बंगाल के दमदम के पूर्व सांसद स्वर्गीय अशोक कृष्ण दत्ता की कोठी पर कब्जा कर लिया गया है़ विदेश में रहने वाले स्वर्गीय दत्ता के एनआरआइ वंशजों को इसकी जानकारी मिलने पर राज्य सरकार से जमीन की रक्षा की गुहार लगायी है़ . स्वर्गीय दत्ता की पुत्री मशहूर […]
देवघर: मोहनपुर थाना स्थित रिखिया में पश्चिम बंगाल के दमदम के पूर्व सांसद स्वर्गीय अशोक कृष्ण दत्ता की कोठी पर कब्जा कर लिया गया है़ विदेश में रहने वाले स्वर्गीय दत्ता के एनआरआइ वंशजों को इसकी जानकारी मिलने पर राज्य सरकार से जमीन की रक्षा की गुहार लगायी है़ .
स्वर्गीय दत्ता की पुत्री मशहूर शास्त्रीय नृत्यांगना अमिता दत्त मुखर्जी ने मुख्यमंत्री जनसंवाद व झारखंड पुलिस की वेबसाइट में आॅनलाइन शिकायत दर्ज कर जमीन की रक्षा गुहार लगायी है़ अमिता दत्त मुखर्जी दर्ज शिकायत में कहा है कि रिखिया के समीप पूर्णाबथान मौजा में एके दत्ता रेसीडेंस के नाम से उनकी पैतृक संपत्ति है, जिसमें पांच पीढियां रहते आ रही है. कुछ लोगों द्वारा मेरी जमीन पर कब्जा कर लिया गया व किमती पेड़ों को भी काट लिया गया है़
अमिता के अनुसार उनकी जमीन पर कब्जा व पेड़ काटने वाला मास्टर माइंड अभिषेक झा नामक व्यक्ति है़ जनसंवाद में दर्ज शिकायत पर पुलिस ने तत्परता दिखायी व अमिता की शिकायत पर मोहनपुर थाना में सनहा दर्ज (सनहा संख्या 22 , 17-3 – 17 ) कर जांच शुरू की दी. बुधवार को मोहनपुर थाना प्रभारी के निर्देश पर एएसआइ बमबम सिंह रिखिया में अशोक कृष्ण दत्ता की कोठी में पहुंचे, इस दौरान कैंपस में सिमल का किमती पेड़ा काटा हुआ पाया गया. श्री सिंह ने कोठी में मौजूद एक युवक से पूछताछ की व जमीन पर दावा संबंधित दस्तावेज मांगे , कुछ देर बाद दस्तावेज दिखाया गया.
एएसआइ श्री सिंह ने नृत्यांगना अमिता से भी फोन पर वार्ता कर जमीन का दस्तोवज मांगा, साथ ही अमिता ने देवघर पहुंचकर अपने पक्ष में सारे दस्तावेज सौंपने की बात कही. अमिता ने पुलिस से उनकी संपत्ति की सुरक्षा की गुहार लगायी है .
रिखिया की खूबसूरती में चार चांद लगाती दत्ता बाबू की कोठी
दमदम से कांग्रेस के पूर्व सांसद रह चुके अशोक कृष्ण दत्ता को रिखिया की प्राकृति छटा से बहुत ही प्यार था. दत्ता बाबू की यह कोठी देवघर-रिखिया मुख्य पथ स्थित रिखियाहाट से पहले है. इस पांच एकड़ भू-भाग के कैंपस में सिमल, शीशम, यूकेलिप्टस, आम, कटहल समेत कई कमती पेड़ हैं. इस कोठी की खास पहचान एक सिरे से यूकेलिप्टस का पेड़ है. यह कोठी रिखिया की खुबसूरती में चार चांद लगाती है. दत्ता बाबू को रिखिया की प्राकृति छटा व इस कोठी से इतना प्यार था कि कोलकाता का प्रसिद्ध दशहरा को छोड़ रिखिया में ही छ़ुट्टियां मनाने आते थे. रिखिया में बंगाली परंपरा से दुर्गा पूजा की शुरुआत भी उन्होंने की थी. उनकी पुत्री अमिता दत्ता मुखर्जी भी कई बार इस कोठी में आ चुकी है. अमिता नृत्य में कई राष्ट्रीय पुरस्कार जीत चुकी है.