इस दौरान यात्री बिनोद कुमार सिंह व उमेश सिंह को शक हुआ. दोनों उससे पूछताछ करने लगे. अंत में बॉगी में बैठे यात्री ने इमरान को पकड़ कर आरपीएफ करमाटांड़ को सौंप दिया. बाद में फर्जी टीटी इमरान को पूछताछ के लिए जामताड़ा आरपीएफ थाना लाया गया. पूछताछ में इमरान ने बताया कि वह केरल से प्लेन से हावड़ा आया. हावड़ा से आसनसोल ट्रेन से पहुंचा. आसनसोल में इएमयू पकड़ कर मधुपुर अपने घर जा रहे थे. ट्रेन में सफर के दौरान हम एक से दो बार बॉगी में इधर से उधर घूमे उसी दौरान यात्री ने पकड़ कर आरपीएफ के हवाले कर दिया. इमरान ने बताया कि वह बकरीद में अपने घर दो साल के बाद जा रहा था.
इसलिए वह काला कोर्ट पहने था. हालांकि इमरान के खिलाफ आसनसोल झाझा-पैसेंजर ट्रेन के यात्री विनोद सिंह एवं उमेश सिंह ने फर्जी टीटीइ बनकर जांच करने को लेकर लिखित आवेदन रेलवे प्रशासन को दिया है. इसलिए आरपीएफ जामताड़ा ने पूरे मामले की जांच के लिए इमरान को मधुपुर जीआरपीएफ के हवाले कर दिया है.