जामताड़ा/धनबाद: झामुमो सुप्रीमो शिबू सोरेन ने कहा है कि उन्हें सत्ता का मोह नहीं, किसानों की चिंता है. किसानों के समर्थन में पार्टी 21 अक्तूबर को निर्धारित राज्यव्यापी धरना की घोषणा पर अडिग है. किसानों के हित की लड़ाई से हम पीछे नहीं हटनेवाले, चाहे सरकार रहे या जाये. वह बुधवार को जामताड़ा परिसदन में पत्रकारों से बात कर रहे थे. बाद में रांची जाने के क्रम में धनबाद के बरवाअड्डा में प्रभात खबर से बातचीत में उन्होंने कहा : अपनी सरकार में भी आंदोलन जरूरी है.
आंदोलन करना पार्टी का काम है और सरकार चलाना विधायकों का. सरकार में विधायक सरकार चलाने, योजना बनाने पर ध्यान अधिक देते हैं. इस स्थिति में पार्टी की ओर ध्यान कम हो जाता है. इसलिए अपनी सरकार में भी पार्टी का आंदोलनात्मक कार्यक्रम चलता रहना चाहिए. उन्होंने कहा : जनता की समस्याओं की ओर सरकार का ध्यान आकृष्ट करने के लिए 21 अक्तूबर जैसे कार्यक्रम हैं. इससे सरकार की खामियां दुरुस्त होंगी. हर सरकार में कुछ खूबियों के साथ खामियां भी रहती हैं. आंदोलन नहीं करेंगे, तो सरकार अपने को निरंकुश समझने लगेगी.
जब चुनाव आयेगा, तब देखा जायेगा : लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के साथ सीटों के बंटवारे पर हुए समझौते पर शिबू सोरेन ने कहा : जो बात हम बोलना चाहते हैं, वह छपती नहीं है. गलत समय पर गलत सवाल पूछे जाते रहे हैं.
इस पर कुछ बोला जाता है, तो राज्य में हंगामा खड़ा कर दिया जाता है. लोकसभा चुनाव होने में काफी समय है, अभी इस तरह के सवाल नहीं पूछे जाने चाहिए. जब चुनाव आयेगा, तो देखा जायेगा. हम थोड़े किसी से कमजोर हैं. यह पूछे जाने पर कि कितनी सीटों पर चुनाव लड़ेंगे, उन्होंने कहा : जब सबको राजनीति करनी है, तो सबको चिंता है. लेकिन हमारी उपेक्षा नहीं होनी चाहिए. कांग्रेस से झगड़ा होगा, तो होगा. जब राजनीति कीजिएगा, तो झगड़ा होगा ही. चलता रहता है, तकरार व इकरार.