रांची : शारदीय नवरात्र के छठे दिन गुरुवार को मां कात्यायनी की पूजा होगी. शाम में बेलवरण अनुष्ठान होगा. गाजे–बाजे के साथ विभिन्न पूजा समिति के लोग बेल सहित अन्य वृक्षों के नीचे जाकर पूजा करेंगे और उन्हें निमंत्रण देंगे.
इसके बाद सप्तमी को प्रात: काल स्नान ध्यान कर इन पत्तियों को लाने के लिए गाजे बाजे के साथ जायेंगे और वहां से इन पत्तियों को लाकर नव पत्रिका प्रवेश करायेंगे. इसी के साथ मां की विधिवत आराधना शुरू हो जायेगी.
जैप वन स्थित दुर्गा मंदिर से इस दिन पूरे सैनिक सम्मान के साथ फूलपांती यात्रा निकलेगी. बुधवार की रात 11.19 बजे से षष्ठी लग गयी. गुरुवार की रात 9.02 बजे तक महाषष्ठी है. इसके बाद महासप्तमी लग जायेगी. गुरुवार को रवियोग है. मां कात्यायनी की पूजा से भक्तों को अर्थ, धर्म,काम व मोक्ष की प्राप्ति होती है. वहीं, बुधवार को मां स्कंदमाता की पूजा की गयी.

इधर, राममंदिर चुटिया में आयोजित रामायण नवाह्न् पारायण यज्ञ के पांचवें दिन बुधवार को मां कात्यायनी की पूजा हुई. 41 यजमानों ने सपत्नीक पूजा में भाग लिया. सुबह नौ बजे से 351 कन्याओं ने रामचरित मानस का सस्वर पाठ किया. शाम साढ़े सात बजे महाआरती हुई. वृंदावन से आयी भजन गायिका नंदेश्वरी देवी ने मां दुर्गा की स्तुति की व भजन प्रस्तुत किया.
जैप वन में उपांग ललिता व्रत
जैप वन स्थित दुर्गा मंदिर में महिलाओं ने उपांग ललिता व्रत रख कर मां की पूजा अर्चना की और उनसे अखंड सुहाग की कामना की. इस दुर्गा मंदिर में पंडित भीम लाल पाठक ने पूजा करायी. यहां 80 महिला प्रतिदिन दुर्गा सप्तशती का सामूहिक पाठ कर रही हैं, जो नौ दिनों तक व्रत में रहेंगी.
बाग्लामुखी मंदिर
चर्च रोड स्थित बाग्ला मुखी मंदिर में गुरुवार को मां की पूजा के लिए भक्तों की भीड़ उमड़ेगी. यहां प्रत्येक गुरुवार को मां की अर्चना के लिए भक्तों की भीड़ उमड़ती है.नवरात्र खासकर शारदीय नवरात्र में अत्यधिक भीड़ उमड़ती है.मां को पीला फूल,पीला केला,हल्दी ,पीला वस्त्र सहित अन्य कुछ प्रिय है.