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बायोमेट्रिक सिस्टम : कहीं लगे नहीं, कहीं उपयोग ही नहीं

किसी भी संस्थान में नियमानुसार उपस्थिति के आधार पर ही हर माह वेतन का भुगतान होता है. राज्यपाल डॉ सैयद अहमद ने सचिवालय सहित सभी विश्वविद्यालय व कॉलेजों में समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए बायोमेट्रिक सिस्टम लगाने का आदेश जारी किया था. प्रभात खबर ने जब इसकी पड़ताल की, तो पाया कि सिस्टम […]

किसी भी संस्थान में नियमानुसार उपस्थिति के आधार पर ही हर माह वेतन का भुगतान होता है. राज्यपाल डॉ सैयद अहमद ने सचिवालय सहित सभी विश्वविद्यालय व कॉलेजों में समय पर उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए बायोमेट्रिक सिस्टम लगाने का आदेश जारी किया था. प्रभात खबर ने जब इसकी पड़ताल की, तो पाया कि सिस्टम तो लगाये गये हैं, लेकिन इसका उपयोग नहीं हो रहा है. राजधानी से बाहर कुछ जगहों पर सिस्टम लगाये गये, लेकिन काम ही नहीं कर रहा है. कई जगहों पर सिस्टम लगा ही नहीं है. रांची विवि में शिक्षकों ने इस सिस्टम का विरोध किया है. उनका मानना है कि यह उनके मान-सम्मान के विपरीत है.

रांची: विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के नियमानुसार, पीजी विभागों व अंगीभूत कॉलेजों में शिक्षकों को प्रतिदिन पांच घंटे रहना अनिवार्य है. असिस्टेंट प्रोफेसर को विभाग / कॉलेज में एक हफ्ते में 16 घंटे और एसोसिएट प्रोफेसर व प्रोफेसर को 14 घंटे पढ़ाना अनिवार्य है. वैसे शिक्षक जो विभाग/कॉलेज में प्रशासनिक कार्य भी देख रहे हैं, मसलन विभागाध्यक्ष, बर्सर को हफ्ते में 12 घंटे पढ़ाना अनिवार्य है. इन्हें अपने कार्य को करने के लिए दो घंटे की छूट मिलेगी. शिक्षकों को एक हफ्ते में छह घंटे शोध कार्य में बिताना है. कर्मचारियों के लिए दिन के साढ़े 10 बजे से अपराह्न् पांच बजे तक कार्यालय में रहना है. इस नियम को रांची विवि सिंडिकेट ने भी स्वीकार किया है. इसी नियम के तहत रांची विश्वविद्यालय के मुख्यालय सहित सभी 15 कॉलेजों, पीजी विभागों, पुस्तकालय, टेबुलेशन सेंटर में उपस्थिति दर्ज कराने के लिए 28 बायोमेट्रिक सिस्टम लगाये गये हैं.

मुख्यालय में तो सभी अधिकारी व कर्मचारी अपनी उपस्थिति इसमें दर्ज करा रहे हैं. पर पीजी विभागों व कॉलेजों में 40 फीसदी शिक्षक ही इसका उपयोग कर रहे हैं. शिक्षक संघ के पदाधिकारी इसका विरोध कर रहे हैं. हालांकि सभी कर्मचारी इस सिस्टम का प्रयोग कर रहे हैं. तकनीकी रूप से मुख्यालय सहित सभी कॉलेजों व पीजी विभागों में उपस्थिति के लिए रजिस्टर भी रखा गया है. कर्मचारी सिस्टम के अलावा रजिस्टर में भी अपना हस्ताक्षर कर रहे हैं. लेकिन कई शिक्षक रजिस्टर में भी उपस्थिति दर्ज नहीं कराते हैं. शिक्षक नेताओं का कहना है कि क्लास में विद्यार्थियों के रजिस्टर में उपस्थिति लेते समय ही उनकी भी उपस्थिति दर्ज हो जा रही है. विवि ने अब इस सिस्टम के माध्यम से ही वेतन भुगतान का निर्देश जारी किया है. विभागाध्यक्ष व प्राचार्य को हर माह रिपोर्ट देने के लिए कहा गया है. वर्तमान में विभागाध्यक्ष व प्राचार्य की रिपोर्ट के आधार पर उपस्थिति का आकलन लगाया जाता है.

सिदो-कान्हू मुरमू विवि

– दुमका स्थित सिदो-कान्हू मुरमू विवि में अब तक सिर्फ मुख्यालय में सिस्टम लगाये गये हैं, जिसका उपयोग नहीं हो रहा है. इसके अलावा किसी कॉलेज व पीजी विभागों में बायोमैट्रिक सिस्टम नहीं लगाये गये हैं

कोल्हान विवि

– कोल्हान विवि, चाईबासा में बायोमैट्रिक सिस्टम मुख्यालय सहित 15 में से 14 कॉलेजों में लगाये गये हैं. लेकिन कहीं भी इसका सही ढंग से उपयोग नहीं हो रहा है

– तीन कॉलेजों में मशीन काम ही नहीं कर रही है, तीन जगह अभी डाटा फीड करने का काम चल रहा है.

– मुख्यालय में लगाये सिस्टम का पीजी विभाग के शिक्षकों व कर्मचारियों को भी उपयोग करने का निर्देश दिया गया है, लेकिन कहीं भी उपयोग नहीं हो रहा है.

शिक्षकों ने बायोमैट्रिक सिस्टम के आधार पर उपस्थिति दर्ज कराने की व्यवस्था का विरोध किया है. शिक्षकों का कार्य पढ़ना व शोध करना है. बायोमैट्रिक सिस्टम के आधार पर उपस्थिति दर्ज कराना उनकी सेवा शर्त या एक्ट में नहीं है. शिक्षकों ने अपनी भावनाओं से कुलपति को अवगत करा दिया है. – डॉ मिथिलेश, विवि शिक्षक

झारखंड के विश्वविद्यालयों का हाल

रांची विश्वविद्यालय

विश्वविद्यालय के मुख्यालय सहित सभी 15 कॉलेजों, पीजी विभागों, पुस्तकालय, टेबुलेशन सेंटर में उपस्थिति दर्ज कराने के लिए 28 बायोमेट्रिक सिस्टम लगाये गये हैं
मात्र 40 फीसदी शिक्षक ही कर रहे हैं उपयोग. कई शिक्षक इसे मान-सम्मान के विपरीत मान रहे
सिमडेगा में रजिस्ट्रेशन का काम चल रहा है

नीलांबर-पीतांबर विवि
मेदिनीनगर स्थित नीलांबर-पीतांबर विवि के मुख्यालय में एक बायोमेट्रिक सिस्टम लगाया गया है. इसका उपयोग अधिकारी व कर्मचारी कर रहे है
चार कॉलेजों में अभी तक सिस्टम नहीं लगाये गये हैं
सितंबर माह में सभी अंगीभूत कॉलेजों में लगाने की योजना तैयार की गयी है
संबद्ध कॉलेजों में इस सिस्टम को लगाने के लिए कुलपति द्वारा जागरूक किया जा रहा है

विनोबा भावे विवि
हजारीबाग स्थित विनोबा भावे विवि के मुख्यालय में पांच बायोमेट्रिक सिस्टम कई दिनों से लाकर रखे हुए हैं. पर इन्हें लगाया नहीं गया है

संत कोलंबस कॉलेज व इंजीनियरिंग कॉलेज में ट्रायल के रूप में एक मशीन लगायी गयी, लेकिन यह भी काम नहीं कर रही है

विवि के 23 कॉलेजों व पीजी विभाग में अभी तक उपस्थिति सुनिश्चित कराने के लिए कोई व्यवस्था नहीं है. इसका परिणाम है कि शिक्षक व कर्मचारी कब आते हैं और कब जाते हैं. इसका पता नहीं चलता.

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