रांची : मेदांता के चिकित्सक सर्जन मो अली से 60 लाख रुपये रंगदारी मांगने के मामले में उन्हीं के चालक रहे अशफाक को सदर पुलिस ने शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया है. उसकी गिरफ्तारी खिजूर टोली स्थित आवास से की गयी है. वह मूल रूप से बेड़ो का रहनेवाला है. घटना के संबंध में पुलिस […]
रांची : मेदांता के चिकित्सक सर्जन मो अली से 60 लाख रुपये रंगदारी मांगने के मामले में उन्हीं के चालक रहे अशफाक को सदर पुलिस ने शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया है. उसकी गिरफ्तारी खिजूर टोली स्थित आवास से की गयी है. वह मूल रूप से बेड़ो का रहनेवाला है. घटना के संबंध में पुलिस ने बताया कि पूरे घटनाक्रम का साजिशकर्ता अशफाक ही है. उसने करीब चार माह तक डॉक्टर के यहां काम किया था. एक माह पूर्व उसने नौकरी छोड़ दी थी.
इसके बाद उसने पीएलएफआइ उग्रवादियों को बड़गाई स्थित चिकित्सक का आवास भी दिखाया था. करीब एक सप्ताह पहले अशफाक ने प्रतिबंधित संगठन पीएलएफआइ के उग्रवादियों काे डॉक्टर का मोबाइल नंबर दे दिया़ इसके बाद से उग्रवादी लगातार डॉक्टर को फोन कर 60 लाख रुपये की रंगदारी मांग रहे थे. इस संबंध में डॉक्टर ने गुरुवार को शिकायत की थी. इसके बाद पुलिस ने जांच शुरू की.
इसमें अशफाक की संलिप्तता सामने आयी. पूछताछ में उसने कबूल किया कि डॉ साहब की कमाई को देखकर उसके मन में लालच आ गया. सोचा कि उग्रवादियों के डर से डॉक्टर साहब पैसे दे देंगे. उसमें से उसे भी मोटी रकम मिलेगी और उसका दुख भी दूर हो जायेगा. लेकिन इससे पहले ही वह पकड़ा गया. अशफाक के मोबाइल से कई उग्रवादियों और अपराधी किस्म के लोगों का मोबाइल नंबर बरामद हुआ है. पुलिस चालक को साजिशकर्ता मान रही है. अभी रंगदारी मांगने वाले को गिरफ्तार किया जाना बाकी है.
एक माह से डॉक्टर की गतिविधियों की कर रहे थे रेकी : चालक अशफाक ने डॉ मो अली के यहां चार माह तक नौकरी थी. इस दौरान डॉक्टर की कमाई, वे कहां जाते हैं, कहां से उनके पास पैसा आता है, यह सब वह रोज देखता था. एक माह पूर्व अशफाक नौकरी छोड़ दी थी.
लेकिन वह अपने मूल घर बेड़ो नहीं जाकर चिकित्सक के आवास बड़गाई से करीब दो-तीन किमी दूर खिजुर टोली में रहकर डॉक्टर पर नजर रखे हुए था. बीच-बीच में वह पीएलएफआइ उग्रवादियों को भी बुलाता था. उसके द्वारा उग्रवादियों को रंगदारी मांगने में शामिल करने के पीछे मंशा यह थी कि डॉक्टर डर से पुलिस के पास नहीं जायेंगे और पैसा आसानी से मिल जायेगा. लेकिन, ऐसा हुआ नहीं और वह पकड़ा गया. पुलिस अशफाक को रिमांड लेकर पूछताछ करेगी.
- चालक ने चार माह तक चिकित्सक के यहां किया था काम, एक माह पहले छोड़ा था काम
- सदर थाने की पुलिस ने खिजूर टोली से किया गिरफ्तार, बेड़ो का है मूल निवासी
- डॉक्टर की कमाई देख चालक अशफाक को आया लालच, पीएलएफआइ के उग्रवादियों से मिलकर रची साजिश
- उग्रवादियों को चिकित्सक का बड़गाई स्थित आवास भी दिखाया था