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33% मरीजों की नहीं हुई जांच

चिंताजनक. कुष्ठ खोजी अभियान में मिले थे 2640 मरीज 16 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के 873 संदेहास्पद मरीजों की नहीं हुई जांच सीवान : जिले में 11 से 31 दिसंबर तक राष्ट्रीय कार्यक्रम कुष्ठ रोगी खोजी अभियान के तहत लोगों की जांच की गयी. जांच में करीब 2640 कुष्ठ के संदेहास्पद मरीज मिले थे. इनमें से […]

चिंताजनक. कुष्ठ खोजी अभियान में मिले थे 2640 मरीज

16 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के 873 संदेहास्पद मरीजों की नहीं हुई जांच
सीवान : जिले में 11 से 31 दिसंबर तक राष्ट्रीय कार्यक्रम कुष्ठ रोगी खोजी अभियान के तहत लोगों की जांच की गयी. जांच में करीब 2640 कुष्ठ के संदेहास्पद मरीज मिले थे. इनमें से 1767 संदेहास्पद मरीजों की ही जांच हो सकी. जांच में 172 कुष्ठ के मरीज मिले. इनमें पीबी कुष्ठ के 97 तथा एमबी कुष्ठ के 75 मरीज मिले.
कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए कुष्ठ विभाग ने माइक्रो प्लान बनाया था. लेकिन, निश्चित समय से करीब सात दिनों तक कार्यक्रम अधिक चलने के बाद जिले की पूरी आबादी 37 लाख की जांच नहीं हो सकी. अभियान में 25 लाख 49 हजार 551 लोगों की जांच करने का दावा कुष्ठ विभाग कर रहा है. वैसे राज्य कुष्ठ पदाधिकारी डॉ. विजय कुमार पांडेय ने जांच के दौरान कार्यक्रम में कई कमियों को पाया था.
प्रचलन दर कम दिखाने की साजिश तो नहीं
राष्ट्रीय कार्यक्रम कुष्ठ रोगी खोजी अभियान खत्म तो हो गया. लेकिन इस कार्यक्रम ने स्वास्थ्य विभाग में व्याप्त अव्यवस्था की पोल जरूर खोल दी. कार्यक्रम के पहले कुष्ठ के मरीज स्वयं इलाज कराने आते थे, तो उन्हीं की रिपोर्ट विभाग भेजता था. इस कारण जिले में कुष्ठ बीमारी के संबंध में प्रचलन दर एक से कम होता था. विभाग के नियम के अनुसार प्रति 10 हजार की जनसंख्या पर एक से अधिक कुष्ठ के मरीज नहीं होने चाहिए. अगर मरीजों की संख्या अधिक होती है, तो विभाग का दबाव मरीजों के इलाज कर उन्हें ठीक करने की होती है. पहले विभाग द्वारा कुष्ठ मरीजों की खोज नहीं की जाती थी. इस कारण प्रचलन दर एक से कम रहता था. वर्तमान में अभियान में काफी संख्या में कुष्ठ के नये मरीजों की मिलने की संभावना थी. सूत्रों के अनुसार, जिले के करीब 16 पीएचसी ऐसे हैं, जहां सभी संदेहास्पद मरीजों की जांच नहीं की गयी.
संदेहास्पद मरीजों की होगी जांच
ये बात सही है कि करीब आठ सौ कुष्ठ के संदेहास्पद मरीज जांच कराने पीएचसी पर नहीं पहुंचे हैं. जिन मरीजों की जांच हुई है और कुष्ठ बीमारी पायी गयी है. उन्हें दवा दी गयी है. जो संदेहास्पद मरीज जांच कराने नहीं आये हैं. उनकी नियमित कार्यक्रम के तहत जांच की जायेगी.
डॉ अनिल कुमार सिंह, जिला संचारी रोग पदाधिकारी, सीवान

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