श्रीकृष्ण, राधा, सुदामा व बलराम के बाल स्वरूप में आये बच्चे
कार्यक्रम में रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम का हुआ आयोजन
सीवान : कला व साहित्य को समर्पित अखिल भारतीय संस्था संस्कार भारती द्वारा रविवार को कचहरी दुर्गा मंदिर परिसर में प्रत्येक साल की भांति श्री कृष्ण बाल मेले का आयोजन किया गया. संस्कार भारती के रजत जयंती वर्ष पर आयोजित इस कार्यक्रम का उद्घाटन 25 अतिथियों ने एक साथ दीप प्रज्वलित कर किया. मेले में सैकड़ों बच्चों ने श्री कृष्ण, राधा, बलराम तथा सुदामा के बाल स्वरूपों में भाग लिया. मेले को लेकर रविवार की सुबह से ही बच्चों व उनके अभिभावकों के बीच उत्साह देखा गया.
संस्था के प्रांतीय मंत्री जादूगर विजय ने कहा कि संस्कार भारती की सीवान इकाई के 25 वें वर्ष पर आयोजित इस कार्यक्रम में मुझे हर्ष व गौरव महसूस हो रहा है कि सांस्कृतिक मूल्यों तथा विविध कला विधाओं के उन्नयन के प्रति सहज प्रतिबद्ध संगठन संस्कार भारती ने अपनी रचनात्मक सांस्कृतिक यात्रा में प्रति वर्ष की भांति श्रीकृष्ण बाल मेले का आयोजन किया है. उन्होंने कहा कि आज के इस आधुनिक युग में भी हमारे सांस्कृतिक एवं धार्मिक पुरुष योगेश्वर श्री कृष्ण का अपना एक अलग महत्व है. चाहे कुरुक्षेत्र की समर भूमि की चर्चा की जाये या ब्रज के गलियों की लीलावतार कर्म योगी श्री कृष्ण की छवि बरबस ही हमारे आंखों में बस जाती है. प्रतियोगिता में भाग लेनेवाले सभी बच्चों को पुरस्कार और रूप सज्जा करनेवालों को प्रमाणपत्र देकर सम्मानित किया गया. कार्यक्रम में प्रो. रवींद्र पाठक, आरती मिश्र, नंद लाल खादरिया, शारदा प्रसाद बरनवाल, परमेश्वर प्रसाद साहु, अशोक कुमार, अश्विनी श्रीवास्तव, नीरज शर्मा, वृजमोहन प्रसाद, रामायण चौहान, धीरज श्रीवास्तव, जादूगर डीके भगत, राजन कुमार, अखिलेश मिश्र, नागेंद्र जी, राजाराम प्रसाद, मुरली मनोहर तिवारी, बालेश्वर चौरसिया, देवेंद्र गुप्ता, अभिषेक सिंह, राजेश कुमार, आलोक रंजन ओझा अतिथि के रूप में शामिल हुए. आयोजन को सफल बनाने में लव कुमार, आकाश अग्रवाल, ओमप्रकाश शर्मा, सुनील कुमार, ओम बजाज, कन्हैया जी, सुनील अरोड़ा, सुधांशु चौरसिया, राजेश सोनी, पंकज पाठक, भगवान दास, कृष्ण जी भक्त, मुकुल राज तथा वीरेश गुप्ता ने योगदान दिया.