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चौकीदार की हत्या करने के बाद अपराधियों ने आंख फोड़कर तेजाब से जलाया था चेहरा

गुठनी : गुठनी थाने के चौकीदार टड़वा खुर्द निवासी स्व. त्रिवेणी सिंह के पुत्र विसुन राय की हत्याकर अपराधियों शव को नदी में फेंक दिया गया था. जिसे गुठनी पुलिस ने बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा. विसुनदेव राय शनिवार सुबह से लापता थे. सोमवार सुबह गुठनी के सोनहुला गांव के समीप छोटी […]

गुठनी : गुठनी थाने के चौकीदार टड़वा खुर्द निवासी स्व. त्रिवेणी सिंह के पुत्र विसुन राय की हत्याकर अपराधियों शव को नदी में फेंक दिया गया था. जिसे गुठनी पुलिस ने बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा. विसुनदेव राय शनिवार सुबह से लापता थे.

सोमवार सुबह गुठनी के सोनहुला गांव के समीप छोटी गंडकी नदी में एक शव को मछुआरों ने देखा और शोर मचाया जिस पर ग्रामीण नदी किनारे एकत्र हुए और पुलिस को सूचना दी. थानाध्यक्ष मनोरंजन कुमार ने शव को नदी से निकलवाया. शव को जब बाहर निकाला गया तो शव की पहचान करने में काफी दिक्कत आयी, क्योंकि शव काफी चोटिल था और तेजाब या अन्य ज्वलनशील पदार्थ से उसे जलाया गया था.
साथ ही चौकीदार की दोनों आंखों को तेजाब डालकर फोड़ा दिया गया था. शव की पहचान चौकीदार विशुन के बाएं हाथ के कटे हुए अंगूठे से उनके भाई सुदामा व अन्य परिजनों ने किया. शव की पहचान होते ही परिजनों में कोहराम मच गया. उनकी चीत्कार से पूरे गांव का माहौल गमगीन हो गया था.
विशुन के तीन भाई पहले ही छोड़ चुके है दुनिया : टड़वा खुर्द निवासी थाना के चौकीदार विशुन राय सात भाई थे और इनकी तीन बहनें है. सात भाइयों में दो भाई वर्षों पूर्व लापता हो गये जो आज तक वापस नहीं आये. वही एक भाई की मौत बीमारी से दिल्ली में हो गयी थी.
इसी बीच विशुन राय की भी अपराधियों ने हत्या कर दी. विशुन को तीन पुत्र है. पति की मौत के बाद पत्नी सविता देवी का रो-रोकर बुरा हाल है. उनका कहना है कि अब मेरे बेटों के परवरिश कैसे होगा. तीनों बेटों में किसी की भी शादी नहीं हुई है.
यूं कहा जाये तो चौकीदार की हत्या ने पूरे परिवार को झकझोर कर रख दिया था. उनकी बिलाप से पूरे मोहल्ले की महिलाओं का रो-रोकर हाल बुरा था. विशुन के रिश्तेदारियों से एक दर्जन महिलाएं अपने परिजनों संग पहुंच गयी थी और सविता को सांत्वना देते देते खुद रोने लगती थी. सविता के छोटे बेटा राजन काफी बदहवास सा था. कुछ बोल ही नहीं पा रहा था. मंझला बेटा सोनू को ग्रामीण संयम से काम लेने सलाह देकर सांत्वना दे रहे थे. विशुन के भाई सुदामा राय अपने को संभाल नहीं पा रहे थे.
नाम में गलती के कारण विवाद में थी नौकरी
अपराधियों के शिकार थाने के चौकीदार विशुन राय तत्कालीन जिला पदाधिकारी के कार्यालय के ज्ञापांक 72 दिनांक 15.05.1993 एवं अनुमंडल पदाधिकारी के कार्यालय के ज्ञापांक 1076 दिनांक 08.09.1993 के द्वारा निर्गत पत्र के आलोक में चौकीदार पद पर 17.09.1993 को गुठनी थाना में योगदान किया था. 1993 से जुलाई 2002 तक नियमित वेतन मिलता रहा, लेकिन सेवा पुस्तिका में नाम गलत चढ़ जाने के कारण अगस्त 2002 से अब तक वेतन लंबित है.
जिसकी जांच पड़ताल जिलाधिकारी रंजीता द्वारा कराया जा रहा है. जिलाधिकारी के कार्यालय के पत्रांक 1069 दिनांक 8.9.19 के तहत अंचलाधिकारी से इसका प्रतिवेदन मांगा गया है. जिलाधिकारी के पत्र में लिखा गया है कि किस परिस्थिति में जुलाई 2002 तक वेतन भुगतान की गयी और किन परिस्थिति में जुलाई 2002 के बाद वेतन भुगतान नहीं किया गया संबंधित प्रतिवेदन उपलब्ध कराया जाये.
चौकीदार की हत्या से दहशत जनप्रतिनिधियों ने की निंदा
चौकीदार विशुन राय की हत्या से पूरा क्षेत्र दहशत में आ गया है. लोगों का कहना है कि अपराधियों का मनोबल काफी आसमान चढ़ बोल रहा है और पुलिस हाथ पर हाथ रख बैठी हुई है. जिसका उदाहरण गुठनी के सोहगरा निवासी अजय ततवा हत्याकांड और मियागुंडी का असलम हत्याकांड है.
दोनों ही हत्याकांड में पुलिस पूरी तरह असफल रही है. दस माह में तीसरी हत्या का मामला है. इधर चौकीदार की हत्या का राजनीतिक व सामाजिक कार्यकर्ताओं ने निंदा की है. सोनहुला पंचायत के मुखिया विजय सिंह, बीडीसी मुन्ना सिंह ने कहा इस घटना की जितनी निंदा की जाय कम है. विशुन काफी सज्जन व्यक्तित्व के थे. जिला पार्षद समरजीत सिंह ने परिजनों से मिल घटना की निंदा करते हुए उन्हें सांत्वना दी और हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया.

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