छपरा (सदर) : सरकार के निर्देश के आलोक में डीएम ने छपरा सदर, मढ़ौरा, सोनपुर के एसडीओ के अलावा बाढ़ग्रस्त पानापुर, मशरक, तरैया, अमनौर, परसा, मकेर, मढ़ौरा एवं दरियापुर के सीओ को एक सप्ताह के भीतर बाढ़पीड़ित परिवारों का सर्वे कराकर अविलंब सूची जिला आपदा प्रबंधन कार्यालय को सौंपने का निर्देश दिया है.
डीएम ने प्रेषित पत्र में सभी एसडीओ तथा सीओ को लिखा है कि नदियों का जलस्तर घटने के बाद कई क्षेत्रों में पानी में कमी हुई है. ऐसी स्थिति में प्रभावित परिवारों का सर्वेक्षण कर जीआर वितरण की दिशा में आवश्यक कार्रवाई करना है. इस दौरान गृह क्षति तथा जीआर से संबंधित राशि उपलब्ध कराना है. ऐसी स्थिति में मकान के पूर्णत: या आंशिक अनुदान के संबंध में भी विस्तृत विवरण जरूरी है.
सारण जिले में एक लाख 70 हजार आबादी हुई है बाढ़ से प्रभावित : सारण जिला प्रशासन के आंकड़ों के अनुसार जिले में विभिन्न प्रखंडों के 34 पंचायतों की 118 गांवों की एक लाख 70 हजार के करीब आबादी पीड़ित हुई है. वहीं अभी भी कुछ जगहों पर जिला प्रशासन के द्वारा राहत एवं बचाव कार्य चलाने के अलावा पानी कम होने पर मेडिकल कैंप एवं चलंत चिकित्सा दल के माध्यम से बाढ़ पीड़ित परिवारों को चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने का कार्य किया गया है. पानापुर, तरैया, अमनौर, मशरक, मढ़ौरा, अमनौर आदि प्रखंडों में जिला प्रशासन के द्वारा एनडीआरएफ, राहत शिविरों में अस्थायी चापाकल, शौचालय आदि के माध्यम से आवश्यक सुविधा उपलब्ध करायी गयी है.
डीएम ने पदाधिकारियों को दिये ये निर्देश
जीआर वितरण हेतु सर्वेक्षण, सूची निर्माण एवं वितरण हेतु पंचायतवार दल का गठन
वास्तविक सूची बाढ़ग्रस्त परिवारों की होनी चाहिए, किसी भी स्थिति में एक परिवार के एक से अधिक सदस्यों का नाम शामिल नहीं होना चाहिए.
राहत वितरण आरटीजीएस के माध्यम से किया जाना है. ऐसी स्थिति में परिवार के मुखिया का पहचान पत्र संख्या तथा खाता वितरण विवरण अनिवार्य है.
उपरोक्त सूची पंचायत सह निगरानी अनुश्रवण समिति से अनुमोदित होनी चाहिए.
पारिवारिक सर्वेक्षण के आधार पर पीड़ित परिवारों की संख्या उस पंचायत के संख्या के निर्धारित मानक से ज्यादा नहीं होनी चाहिए.
क्या कहते हैं डीएम
जिले के बाढ़ग्रस्त अनुमंडल के अनुमंडल पदाधिकारियों सभी सीओ को बाढ़ग्रस्त परिवारों की सर्वेक्षण सूची तैयार कर निगरानी सह अनुश्रवण समिति के अनुमोदन के उपरांत ही जीआर वितरण का निर्देश दिया गया है. जिससे किसी भी प्रकार की अनियमितता की गुंजाइश नहीं रहे.
हरिहर प्रसाद, डीएम, सारण