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बिहार दिवस पर लगेंगे स्टॉल विशेष व्यंजन करेंगे आकर्षित
पटना : राज्य के मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह ने सोमवार को बिहार दिवस की तैयारी की समीक्षा के दौरान अधिकारियों से गांधी मैदान में लगने वाले व्यंजन मेले में खास बिहारी व्यंजनों का ही स्टॉल लगवाने को कहा है. 22 से 24 मार्च तक बिहार दिवस का आयोजन किया जायेगा. समीक्षा बैठक में डीजीपी […]
पटना : राज्य के मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह ने सोमवार को बिहार दिवस की तैयारी की समीक्षा के दौरान अधिकारियों से गांधी मैदान में लगने वाले व्यंजन मेले में खास बिहारी व्यंजनों का ही स्टॉल लगवाने को कहा है. 22 से 24 मार्च तक बिहार दिवस का आयोजन किया जायेगा. समीक्षा बैठक में डीजीपी पीके ठाकुर सहित कई विभागों के प्रधान सचिव मौजूद थे. बिहार दिवस की थीम नशामुक्ति रखी गयी है. मुख्य सचिव ने कहा कि मेला परिसर की साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें. इसके लिए अधिकारियों की जिम्मेवारी तय होनी चाहिए. पुलिस अधिकारियों से मेला में पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया.
विभिन्न विभागों के अधिकारियों से कहा गया कि वे अपने- अपने पवेलियन और स्टॉल की तैयारी समय पर पूरा कर लें. आयोजन की नोडल एजेंसी बिहार शिक्षा परियोजना परिषद (बीइपी) के निदेशक संजय सिंह को उन्होंने तैयारी की लगातार मॉनीटरिंग करने को कहा.
गांधी मैदान में नीरा का भी स्टॉल लगेगा. स्टॉल कृषि विभाग की ओर से लगाया जायेगा. नशामुक्ति को लेकर लोगों को जागरूक करने के लिए भी एक स्टॉल होगा. बैठक में गृह सचिव आमिर सुबहानी, कैबिनेट के प्रधान सचिव ब्रजेश मल्होत्रा. शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव आरके महाजन. उद्योग विभाग के प्रधान सचिव एस सिद्धार्थ सहित कई विभागों के आलाधिकारी मौजूद थे.
नौ और 10 अप्रैल को गांधी दर्शन पर होगा विमर्श : मुख्य सचिव चंपारण सत्याग्रह शताब्दी वर्ष की तैयारी की भी समीक्षा की. नौ और 10 अप्रैल को कन्वेंशन हॉल में गांधी के सत्याग्रह, शिक्षा, सामाजिक न्याय, युवा शक्ति और पर्यावरण दर्शन पर विमर्श होगा. विमर्श के लिए 66 विद्वानों की सूची तैयार हुई है. मुख्य सचिव ने चंपारण सत्याग्रह शताब्दी समारोह के तहत होने वाले हेरिटेज वाॅक की तैयारी की भी जानकारी ली. इसको लेकर तिरहुत प्रमंडल के पदाधिकारियों को बुलाया गया था.
पटना : गांधी मैदान में लगी गांधीजी की 40 फुट की मूर्ति चंपारण सत्याग्रह शताब्दी वर्ष के लोगो के रूप में इस्तेमाल होगा. इस आशय का निर्देश मुख्य सचिव ने अधिकारियों को दिया है. चंपारण सत्याग्रह के शताब्दी समारोह के आयोजन के लिए अब तक कोई प्रतीक चिह्न निर्धारित नहीं था. अब यह आधिकारिक तौर पर प्रतीक चिह्न के रूप में इस्तेमाल होगा.
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