अस्पताल की ओर से शव नहीं देने पर निकाला गुस्सा
पटना : बोरिंग कैनाल रोड स्थित एक निजी अस्पताल में मरीज की मौत के बाद उसके शव को लेकर परिजनों ने जम कर हंगामा किया. आगजनी करते हुए सड़क जाम कर दी. परिजनों का आरोप था कि पूरा पैसा देने के बाद भी अस्पताल प्रशासन ने शव देने से इनकार कर दिया.
नालंदा जिले के डिहरा गांव निवासी प्राइवेट सॉफ्टवेयर इंजीनियर 23 वर्षीय शैलेंद्र कुमार को 1 फरवरी से ही रुक-रुक बेहोशी हो रही थी. परिजनों ने उन्हें नालंदा जिले के एक प्राइवेट अस्पताल में भरती कराया. लेकिन, वहां सुधार नहीं होने पर डॉक्टर ने पटना रेफर कर दिया. शैलेंद्र के जीजा मुकेश ने उन्हें बोरिंग कैनाल रोड स्थित निजी अस्पताल में 7 फरवरी को भरती कराया. साथ ही इलाज के लिए 10 हजार रुपये भी जमा किये.
इलाज के दौरान रविवार की सुबह उनकी मौत हो गयी.
गार्ड ने महिला को पीटा : पैसे को लेकर शैलेंद्र के परिजन और अस्पताल प्रशासन में नोक-झोंक हो रही थी. मामला बढ़ गया और अस्पताल के गार्ड ने शैलेंद्र की सास मीरा देवी की पिटाई कर दी. इससे शैलेंद्र के परिजन आक्रोशित हो गये और बोरिंग कैनाल रोड पर टायर जला कर रोड जाम कर दिया.
मौत के बाद रखा वेंटिलेटर पर : मुकेश का कहना था कि शैलेंद्र की मौत 8 फरवरी की रात ही हो चुकी थी. इसकी सूचना उन्होंने डॉक्टर को दी, लेकिन अस्पताल प्रशासन ने इलाज का बिल बढ़ाने के लिए मौत के बाद भी उसके शव को वेटिलेंटर पर रखा था. मुकेश का आरोप है कि पुलिस ने अस्पताल का पक्ष लिया और उसे पूरा पैसे जमा करने को कहा. श्रीकृष्णापुरी थानाध्यक्ष ईश्वर चंद्र विद्यासागर का कहना है कि शैलेंद्र के परिजनों और अस्पताल प्रशासन को समझा कर मामले को शांत कराया.