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अल्पसंख्यक की परिभाषा को दोबारा परिभाषित करने की जरूरत : गिरिराज

पटना: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने अल्पसंख्यक शब्द की परिभाषाको बदलने की मांग करतेहुए कहा है कि देश में मुसलमानों की आबादीबीस करोड़ है तो वे फिर अल्पसंख्यक कैसे हो सकते हैं. भाजपा नेता गिरिराज सिंह ने साफ कहा कि सदन के अंदर और बाहर अल्पसंख्यक की परिभाषा पर चर्चा करने की जरूरत है. कुछ […]

पटना: केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने अल्पसंख्यक शब्द की परिभाषाको बदलने की मांग करतेहुए कहा है कि देश में मुसलमानों की आबादीबीस करोड़ है तो वे फिर अल्पसंख्यक कैसे हो सकते हैं. भाजपा नेता गिरिराज सिंह ने साफ कहा कि सदन के अंदर और बाहर अल्पसंख्यक की परिभाषा पर चर्चा करने की जरूरत है. कुछ पार्टियां मुसलमानों को केवल वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल कर रही हैं. यह देश के साथ-साथ मुसलमानों के लिए सही नहीं है.

एक निजी चैनल से बात करते हुए गिरिराज सिंह ने यह बातें कहीं. उन्होंने आगे कहा कि देश मेंबीस जिले ऐसे हैं जहां मुलसमानों की संख्यापचास फीसदी और उससे ज्यादा है. फिर भी वो वहां अल्पसंख्यक हैं.भाजपा नेता ने एक एजेंसी की रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया कि बिहार के किशनगंज में मुसलमानों की आबादीसत्तर फीसदी और हिंदुओं की आबादीबीस फीसदी के आसपास है. इसके बावजूद किशनगंज जिले में हिंदू बहुसंख्यक हैं और मुसलमान अल्पसंख्यक हैं.

गिरिराज सिंह ने साथ ही कहा कि देश के आठ राज्यों में हिंदुओं की जनसंख्या निरंतर घटती जा रही है. हिंदुओं को देश में अपनी जनसंख्या को बढ़ाने के बारे में सोचना चाहिए. गिरिराज ने कहा कि इसके पहले आरएसएस प्रमुख ने भी अगस्त में हिंदुओं को ज्यादा बच्चे पैदा करने की सलाह देते हुए कहा था कि कोई भी कानून हिंदुओं को ज्यादा बच्चा पैदा करने से नहीं रोकता.

ट्रिपल तलाक के मुद्दे पर गिरिराज सिंह ने कहा कि इस मुद्दे पर बेवजह हमलोगों को बदनाम किया जा रहा हैं. शोषित और प्रताड़ित मुस्लिम महिलाओं ने कोर्ट से गुहार लगायीं हैं, मामला कोर्ट में हैऔर इसमें भाजपा और केंद्र सरकार का कोई लेना देना नहीं हैं. हमलोग सिर्फ चाहते हैं कि महिलाओं को न्याय और अधिकार मिलें.

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