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ठेकेदारी में आरक्षण मामले में फैसला सुरक्षित
पटना : पटना उच्च न्यायालय ने ठेकेदारी में आरक्षण की व्यवस्था के खिलाफ दायर याचिका की सुनवाई करते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश इकबाल अहमद अंसारी और जस्टिस चक्रधारी शरण सिंह की कोर्ट ने सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रखने के आदेश दिये. सरकार के इस फैसले को जनहित याचिका दायर कर […]
पटना : पटना उच्च न्यायालय ने ठेकेदारी में आरक्षण की व्यवस्था के खिलाफ दायर याचिका की सुनवाई करते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश इकबाल अहमद अंसारी और जस्टिस चक्रधारी शरण सिंह की कोर्ट ने सुनवाई के बाद फैसला सुरक्षित रखने के आदेश दिये.
सरकार के इस फैसले को जनहित याचिका दायर कर अदालत में चुनौती दी गयी है. राज्य सरकार ने सभी विभागों में 15 लाख तक की ठेकेदारी में अनुसूचित जाति को 16 प्रतिशत, जन जाति को एक प्रतिशत और इबीसी को 18 , ओबीसी को 12 प्रतिशत, पिछड़े वर्ग की महिला को तीन प्रतिशत और बाकी के 50 प्रतिशत को सभी वर्ग के लिए आरक्षित किया गया है.
पटना उच्च न्यायालय ने कोयला उठाव के दौरान होने वाले प्रदूषण को गंभीरता से लिया है. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश इकबाल अहमद अंसारी और जस्टिस चक्रधारी शरण सिंह की कोर्ट ने गुरुवार को इस मामले
में दायर जन हित याचिका की सुनवाई करते केंद्र सरकार को चार अप्रैल तक जवाब देने को कहा है. कोर्ट चार अप्रैल को इस मामले की सुनवाई करेगी.
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