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बख्तियारपुर : मॉडल मतदान केंद्र पर बंदर का उत्पात
बख्तियारपुर : 257 मतदान केंद्र वाले विधानसभा क्षेत्र बख्तियारपुर में एक-दो घटना को छोड़ मतदान शांतिपूर्ण हुआ. सुबह कुछ बूथों पर इवीएम की खराबी से मतदाता परेशान रहे तो दस बजे के बाद बंदर के उत्पात ने मॉडल बूथ पर करीब दो घंटे अफरा-तफरी का माहौल बना दिया. हालांकि सुरक्षा की पुख्ता इंतजाम के कारण […]
बख्तियारपुर : 257 मतदान केंद्र वाले विधानसभा क्षेत्र बख्तियारपुर में एक-दो घटना को छोड़ मतदान शांतिपूर्ण हुआ. सुबह कुछ बूथों पर इवीएम की खराबी से मतदाता परेशान रहे तो दस बजे के बाद बंदर के उत्पात ने मॉडल बूथ पर करीब दो घंटे अफरा-तफरी का माहौल बना दिया. हालांकि सुरक्षा की पुख्ता इंतजाम के कारण कहीं अप्रिय घटना नहीं हुई.
इस घटना की वजह से मतदान करने पहुंचे लोगों को भी थोड़ा विरोध झेलना पड़ा. ऑर्ब्जबर के साथ ही केंद्रीय बलों ने भी बूथों पर नजर रखी.
पटना-बख्तियारपुर
विधानसभा क्षेत्र के बूथ संख्या 203 व 204 को मॉडल मतदान केंद्र बनाया गया हैं. इस केंद्र पर सुबह आठ बजे पहुंचे, दोनों मतदान केंद्रों पर महिलाओं से ज्यादा पुरूष मतदाताओं की लंबी कतार लगी थी. उस समय तक दोनों मतदान केंद्रों पर छह प्रतिशत मतदान हुआ था.
मतदान केंद्र के बाहर खड़े लोग मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के आने का इंतजार कर रहे थे. इसी बीच एक बंदर ने उत्पात मचाना शुरू कर दिया. आधा घंटा के भीतर तीन मीडिया कर्मी, एक युवक और एक 70 वर्षीया आशा गुप्ता को जख्मी कर दिया, जिससे 9:30 बजे तक अफरा-तफरी का माहौल रहा. इस कारण आधा घंटा तक मतदान प्रक्रिया बाधित रही.
नाराज लोगों ने सीएम का किया विरोध : सीएम नीतीश कुमार 10:14 बजे प्लस टू प्रोजेक्ट बालिका उच्च विद्यालय स्थित मतदान केंद्र में पहुंचे. उनके पहुंचते ही मतदान केंद्र के बाहर खड़े लोगों ने जिंदाबाद का नारा लगाने लगे, जिसे सीएम ने नारेबाजी रोकने का आदेश दिया.
जैसे ही सीएम मतदान देकर बाहर निकले, तो नया टोला माधोपुर के रहने वाले विपीन दास अपने 15 वर्षीया मृत बच्ची की शव के साथ गुहार लगाने के लिए खड़े थे. लेकिन श्री दास की गुहार नहीं सुनने पर सैकड़ों की संख्या में खड़े लोगों ने सीएम के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दिया. विरोध को देखते ही स्थानीय थानाप्रभारी ने शव को अपने कब्जा में कर लिया और भीड़ पर नियंत्रित करने की कोशिश करने लगे, लेकिन विरोध करने वाले लोग सीएम के घर तक पहुंच गये और नारेबाजी करते रहे. इस अफरा-तफरी में सीएम मीडिया से भी बात नहीं किये और चलते बने.
बूथों पर दिखा महिलाओं की दबदवा : सुबह 8:50 बजे उत्क्रमित मध्य विद्यालय देदौरा पहुंचे.इस स्कूल में मतदान केंद्र संख्या 187 व 188 है. इन दोनों मतदान केंद्रों पर सामान्य रूप से महिलाओं-पुरूषों की लंबी कतार खड़ी थी. बूथ संख्या 187 पर 1168 मतदाता और बूथ संख्या 188 पर 1181 मतदाता की संख्या है, जिसमें 132 और 168 मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग कर चुके थे. 12:30 बजे प्राथमिक विद्यालय राघोपुर में बूथ संख्या 212 पर पहुंचे.
इस बूथ पर मतदाताओं की संख्या 1350 है, जिसमें 518 मतदाता वोट दे चुके थे. इस बूथ पर 217 महिलाएं भी अपने मताधिकार का उपयोग कर चुकी थी. साथ ही दिन के एक बजे मध्य विद्यालय मिरदाहाचक पहुंचे, जहां 277 महिलाएं अपना मताधिकार का उपयोग कर चुकी थी.
नवविवाहित महिलाओं में भी दिखा उत्साह
पंचायत लोक शिक्षा समिति, करनौती के मतदान केंद्र संख्या 233 पर दिन के 1:30 बजे पहुंचे. इस समय पुरूषों से ज्यादा महिलाओं की लंबी कतार लगी थी. इस कतार में करीब पांच-छह महिलाएं नवविवाहित थी, जो अपना चेहरा अपनी साड़ी से ढकी हुई थी. इन महिलाओं से पूछने पर कहती है कि विकास के नाम पर वोट देने के लिए पहुंचे हैैं.
एक बूथ जहां नहीं थी मतदाताओं की भीड़
बख्तियारपुर बाजार से करीब एक किलोमीटर दूर नवयुवक संघ पुस्तकालय में बूथ संख्या 210 है. इस बूथ पर मतदाताओं की संख्या 1043 है, लेकिन नौ बजे तक सिर्फ 115 मतदाता ही अपने मताधिकार का उपयोग किये थे. इसमें 40 महिला और 75 पुरूष शामिल है.इतना ही नहीं, मतदाताओं के कतार में सिर्फ दस लोग ही खड़े दिखे .
और महिलाएं एक भी नहीं. यही स्थिति दिन के दो बजे भी दिखा. बूथ पर कतार भी खत्म हो गया था और सिर्फ 255 मतदाताओं ने अपने मताधिकार का उपयोग किये थे.
जख्मी महिला ने दिया वोट
70 वर्षीय आशा गुप्ता नौ बजे मॉडल बूथ पर वोट देने पहुंची. वृद्धा होने के कारण वह मतदान केंद्र पर लगे कुरसी पर बैठ गयी.
इसी दौरान बंदर ने उस पर हमला किया और महिला जख्मी हो गयी. बूथ पर खड़े स्थानीय लोग और प्रशासन उसे अस्पताल ले गये. जहां उसे रैबीज की सूई दी गयी. वह 9:30 बजे दुबारा बूथ पर पहुंची और परिवार के सहयोग के वोट देकर घर लौटी.
वोट देने के बाद उसने बतायी कि वोट देना मेरा अधिकार है.
शुरू हो गयी हार-जीत की चर्चा
बख्तियारपुर
सुबह से लेकर दोपहर तक बख्तियारपुर व आसपास के ग्रामीण इलाकों में लोगों के बीच मतदान देने की होड़ लगी थी. हर छोटे- छोटे सड़कों पर दो चार पुरूष व महिलाएं वोट देने जाते हुए दिख रही थी. साथ ही लोग अपने-अपने तरीके से हार-जीत की गणित बैठाने में भी जुटे रहे. कोई भाजपा तो कोई राजद को बहुमत दिला रहे थे. इस गणित में निर्दलीय प्रत्याशी जितेंद्र कुमार को भी लोग कम नहीं आक रहे थे. बख्तियारपुर के न्यू बाइपास स्थित एक ढावा में लोग बैठे थे. सब के सब अपने तरीके से चुनावी जीत की चर्चा कर रहे थे. ढावा पर बैठे अर्जुन यादव कहते है कि मीसी, टेका बीघा, मौगलपुरा में राजद की हवा है.
वहीं, राम विनोद सिंह श्री यादव की जवाब को काटते हुए कहते है कि दियारा क्षेत्र के रूपस मरूआही, करनौती, रवाइच व नरौली में भाजपा की हवा हैै. इसके साथ ही निर्दलीय प्रत्याशी भी यादव और कुर्मी समुदाय में सेंध लगाया है, जो राजद के लिए नुकसान होगा. इन सबों की बात सुन कर राणा राजेंद्र यादव कहते है कि टक्कर का मुकाबला है. अभी कौन हारेगा और कौन जीतेगा कहना जल्दबाजी होगा.
बाजार रहा बंद : सुबह सात बजे से मतदान प्रक्रिया शुरू हो गया. सड़कों पर लोगों की चहलकदमी खत्म हो गयी. इसके साथ ही बाजार भी बंद हो गया था. बख्तियारपुर के सिर्फ स्टेशन के समीप ही इक्का-दुक्का दुकान खुले थे. स्थिति यह थी कि बाजार में सन्नाटा पसरा था.
शाम छह बजे के बाद बाजार में चहलकदमी बढ़ गयी. बख्तियारपुर मुख्यालय से लेकर ग्रामीण इलाकों तक जगह-जगह पुलिस गश्ती कर रही थी. चौक-चौराहाें, छोटे-बड़े ढावा पर भी केंद्रीय पुलिस और बिहार पुलिस की टीम खड़ी थी.
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