पटना: बिहार में अवैध कारोबार करने वाली नॉन बैंकिंग कंपनियों पर सरकार शिकंजा कसेगी. उक्त बातें गुरुवार को उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी ने कही. वित्त विभाग के प्रधान सचिव को उन्होंने निर्देश दिया है कि सूबे में कार्यरत सभी नॉन बैंकिंग कंपनियों के स्टेट इनचार्जो को बुलाकर यह जानकारी लें कि उनकी कंपनियों ने राज्य में किन-किन जमा योजनाओं को किन-किन शर्तों के तहत चला रखा है.
सुशील मोदी ने बताया कि मुंबई यात्र के दौरान सेबी के चेयरमैन यूके सिन्हा से उन्होंने बिहार में गैर कानूनी रूप से कार्यरत नॉन बैंकिंग कंपनियों पर शिकंजा कसने में सहयोग देने का अनुरोध किया था. उन्होंने बताया कि सेबी के चेयरमैन और वरीय अधिकारी जल्द ही बिहार आयेंगे. सेबी के चेयरमैन ने उन्हें मुंबई में बताया कि रोज वैली कंपनी के धन संग्रह पर 2011 से ही प्रतिबंध लगया जा चुका है.
उप मुख्यमंत्री ने वित्त विभाग के अधिकारियों को शारदा ग्रुप ऑफ कंपनीज की बिहार में संचालित गतिविधियों का भी पता लगाने का निर्देश दिया है. गलती पाये जाने पर कंपनी के खिलाफ कार्रवाई करने का भी उन्होंने निर्देश दिया है.
इसके अलावा उन्होंने कोसी सेंट्रल-को-ऑपरेटिव सोसायटी लिमिटेड, बैंक कर्मचारी स्वावलंबी सहकारी समिति, प्रयाग ग्रूप ऑफ इंडस्ट्रीज, विश्वमित्र, रोज वैली कॉरपोरेशन और शारदा ग्रुप ऑफ कंपनीज लिमिटेड की गतिविधियों की भी जानकारी विभिन्न प्रशासनिक स्त्रोतों से हासिल करने को कहा है, ताकि उनकी ठगी से आम जनता को बचाने के लिए हर संभव कार्रवाई की जाये. उप मुख्यमंत्री ने मिनिस्ट्री ऑफ कंपनीज अफेयर से भी नॉन बैंकिंग कंपनियों के अवैध कारोबार रोकने के लिए आवश्यक हस्तक्षेप करने की मांग की है. मोदी ने बताया कि पश्चिम बंगाल से निबंधन प्राप्त कर नॉन बैंकिंग कंपनियां अधिक ब्याज दर देने का प्रलोभन दे कर आम जनता के साथ ठगी कर रही है.