31.9 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

गठबंधन अनिवार्यता नहीं सहमति हैः नीतीश

पटना: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज कहा कि गठबंधन का मतलब अनिवार्यता नहीं बल्कि सहमति होती है और हम तो दूर-दूर तक किसी वीटो की बात नहीं सोचते सहमति की बात जरुर सोचते हैं. गुजरात के मुख्यमंत्री को अगले लोकसभा चुनाव में प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाये जाने पर जदयू के एतराज पर […]

पटना: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आज कहा कि गठबंधन का मतलब अनिवार्यता नहीं बल्कि सहमति होती है और हम तो दूर-दूर तक किसी वीटो की बात नहीं सोचते सहमति की बात जरुर सोचते हैं.

गुजरात के मुख्यमंत्री को अगले लोकसभा चुनाव में प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाये जाने पर जदयू के एतराज पर बिहार के उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी द्वारा गत एक मई को यह कहे जाने कि लोकतंत्र में किसी को वीटो लगाने का अधिकार नहीं है, उसके बारे में पूछे जाने नीतीश ने कहा कि हर दल को अपने ढंग से बोलने का अधिकार है और इस संबंध में उनकी पार्टी जदयू ने अपनी राय जाहिर की है.

उन्होंने कहा कि यह बात सही है कि गठबंधन में किसी का वीटो नहीं चलता, सहमति की बात होती है और हमने हमेशा कहा है कि एक गठबंधन को चलाने का नजीर अटल बिहारी वाजपेयी ने पेश किया. नीतीश ने कहा कि हमलोगों के सामने गठबंधन का जो मानक वह अटल के कुशल नेतृत्व के द्वारा निर्धारित है और हमने उनके कुशल नेतृत्व की प्रशंसा की है.

उन्होंने कहा कि हम तो दूर-दूर तक किसी वीटो की बात नहीं सोचते, सहमति की बात जरुर सोचते हैं पर हर दल को अपनी राय रखने का अधिकार है. नीतीश ने कहा कि कोई अपनी राय को प्रकट करे तो उसे कहीं से भी वीटो की संज्ञा नहीं दी जानी चाहिए. उन्होंने कहा कि यहां बात अंतोगत्वा सहमति की है और अगर सहमति नहीं बनती है और असहमति होती है तो हर पार्टी को निर्णय लेने का अधिकार है. नीतीश कुमार ने कहा कि जहां तक उनकी पार्टी का सवाल है तो उसने स्पष्ट कह दिया है कि उसमें कुछ भी अगर-मगर नहीं है.

उन्होंने कहा कि जदयू भी एक राजनीतिक दल है और हमारी अपनी राय है और वे कभी भी सार्वजनिक रुप से नहीं बोलते, हमने जो कुछ भी कहा है और हमारे दल का जो भी निर्णय है वह पार्टी फोरम पर है.नीतीश ने कहा कि हम तो बाहर कुछ बोलते नहीं, पार्टी के फोरम पर अगर अपनी राय नहीं रखेंगे तो कहां रखेंगे.

उन्होंने कहा कि इसी प्रकार से दूसरे दलों के इस अधिकार को भी वह मान्यता देते हैं कि वे अपने फोरम पर बोल सकते हैं, इसके लिए हमें कभी इसको लेकर बुरा नहीं लगता.नीतीश ने कहा कि गठबंधन सहमति के आधार पर चलता है, गठबंधन मजबूरी में नहीं चलता और अगर मजबूरी में कोई गठबंधन चले तो वह कामयाब नहीं होता.

उन्होंने कहा कि हमारे बिहार में गठबंधन (जदयू एवं भाजपा के बीच) सहमति से चल रहा है इसलिए उसे कामयाबी मिली है और उसी तरह केंद्र में अटलजी के नेतृत्व में सहमति से गठबंधन चला तो कामयाबी मिली.

सुशील मोदी के उक्त कथन जिसमें उन्होंने जदयू की ओर इशारा करते हुए कहा था अतिपिछडों पर किसी दल विशेष का एकाधिकार नहीं है, उसके बारे में पूछे जाने पर नीतीश ने कहा कि हर व्यक्ति को अपनी राय व्यक्त करने का अधिकार है, अंतिम तौर पर फैसला तो जनता करती है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें