पटना : पंचायती राज मंत्रालय ने सभी पंचायतों में विशेष ग्राम सभा, वार्ड सभा और महिला सभा आयोजित कराने का निर्णय लिया है. उद्देश्य है कि विशेष सभा की बैठक में सरकार की योजनाओं से ग्रामीणों को अवगत कराया जाये. बैठक के लिए अगस्त या सितंबर में कोई एक दिन निर्धारित करना है. इसका निर्धारण डीएम व बीडीओ के स्तर पर किया जाना है.
भारत सरकार के निर्देश पर पंचायती राज विभाग ने सभाओं के आयोजन को लेकर पत्र निर्गत किया है. हालांकि ऐसा निर्देश अभी तक पंचायतों में नहीं पहुंचा है. पंचायती राज विभाग के प्रधान सचिव अमिताभ वर्मा ने बताया कि विशेष ग्राम सभा की बैठक में विभिन्न विभागों के संबंधित पदाधिकारी भाग लेकर जनता को योजनाओं की जानकारी देंगे.
बैठक का सही ढंग से संचालन किया जा सके , इसके लिए पैसे की जरूरत होती है. इस तरह की सभाओं के लिए पंचायतों के पास कोई अलग से फंड नहीं है. विभाग इसको लेकर व्यवस्था कर रहा है कि सभा के आयोजन के लिए पैसे की व्यवस्था हो सके.
मुखिया महासंघ के मीडिया प्रभारी कामेश्वर गुप्ता व शिवहर जिला मुखिया संघ के अध्यक्ष संजय कुमार वर्मा ने बताया कि विशेष सभा के लिए फंड की व्यवस्था होनी चाहिए. अगर सरकार खानापूर्ति करना चाहती है तो तब तो कुछ कहने की जरूरत ही नहीं है.
पंचायती राज विभाग ने लिया निर्णय, अगस्त या सितंबर में होगी बैठक
– विभागों की योजनाएं
* आइसीडीएस की योजना : प्रत्येक आंगनबाड़ी केंद्र पर तीन से छह वर्ष के 40 बच्चों को पका हुआ भोजन, 16 गर्भवती व प्रसूति महिलाएं व तीन कुपोषित किशोरी को टेक होम राशन प्रत्येक माह की 15 या 16 तारीख को देना है.
* जनवितरण प्रणाली योजना : प्रत्येक बीपीएल परिवार को प्रतिमाह 15 किलो चावल 6.68 रुपये व 10 किलो गेहूं 5.50 रुपये की दर से, अंत्योदय परिवार को 21 किलो चावल तीन रुपये व 14 किलो गेहूं दो रुपये किलो की दर से.
* कृषि : श्री विधि से धान व गेहूं की खेती के लिए अनुदान, फल, फूल व औषधीय पौधों की खेती के लिए 50 -90 प्रतिशत व कोल्ड स्टोरेज की स्थापना के लिए अनुदान.
* पशुपालन : पशुपालन के लिए अनुदान, मुरगी पालन व हेचरी यूनिट लगाने के लिए अनुदान.
* मछलीपालन : तालाब बनवाने के लिए चालीस प्रतिशत, मछली जीरा तथा फिश फीड मील के लिए अनुदान.
* पीएचइडी : निर्मल ग्राम योजना के तहत हर घरों में शौचालय का निर्माण, स्वच्छ पेयजल के लिए स्कूल व आंगनबाड़ी केंद्रों पर चापाकल लगाना.
* स्वास्थ्य विभाग : आशा व आंगनबाड़ी केंद्रों पर टीकाकरण व गर्भवती महिला की देखभाल.