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दिसंबर तक पटना नहीं होगा ओडीएफ
चुनौती. तीन स्लम में शौचालय उपलब्ध कराने में आयेंगी मुश्किलें सात वार्डों को ओडीएफ करने की चल रही तैयारी पटना : देश से सभी शहरों, छोटे नगरों से लेकर गांवों को अक्तूबर 2018 तक खुले में शौच मुक्त घोषित किया जाना है. इसको लेकर नगर निगम भी तैयारी कर रहा है. बीते दो अक्तूबर को […]
चुनौती. तीन स्लम में शौचालय उपलब्ध कराने में आयेंगी मुश्किलें
सात वार्डों को ओडीएफ करने की चल रही तैयारी
पटना : देश से सभी शहरों, छोटे नगरों से लेकर गांवों को अक्तूबर 2018 तक खुले में शौच मुक्त घोषित किया जाना है. इसको लेकर नगर निगम भी तैयारी कर रहा है. बीते दो अक्तूबर को इस वर्ष के अंत में दिसंबर तक सभी वार्डों को ओडीएफ घोषित करने का लक्ष्य रखा गया था, लेकिन नगर निगम अब अपने लक्ष्य के मुकर रहा है.
निगम की तैयारी है कि अगले वर्ष मार्च तक पूरे नगर निगम को खुले में शौच मुक्त कर दिया जाये. गौरतलब है कि निगम ने बीते दो अक्तूबर को पहली बार 11 वार्डों को ओडीएफ घोषित किया है. वहीं नवंबर के अंत तक निगम ने छह सात वार्डों को ओडीएफ घोषित करने का लक्ष्य रखा है. इसके लेकर लोगों से आपत्ति मांगी गयी है.
62 सामुदायिक शौचालय निर्माण के लिए निकाला गया है टेंडर : नगर निगम एक माह के भीतर 62 सामुदायिक शौचालय का निर्माण किया जा रहा है. निगम ने इसके लिए निविदा का प्रकाशन कर दिया है. एक शौचालय का निर्माण सात लाख 73 हजार रुपये की लागत से बनाया जा रहा है. इसमें तीन स्लम अदालतगंज, बंदी टोली व इंद्रा नगर में सामुदायिक शौचालय निर्माण करने की संख्या अधिक है. इसके लिए लगभग चार करोड़ 79 लाख 62 हजार रुपये लगाया जा रहा है.
दूसरी किस्त लेने नहीं आये 2545 लाभुक : शौचालय निर्माण के लिए सरकार की ओर से विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से लोगों को व्यक्तिगत शौचालय निर्माण के लिए 12 हजार रुपये की राशि दी जाती है. इसमें पहली किस्त में नगर निगम 4500 रुपये व दूसरी किस्त में 7500 रुपये देता है.
फिलहाल नगर निगम में पिछले व इस बार के वित्तीय वर्ष के कुल 3375 आवेदन आ चुके हैं. पिछली वित्तीय पर्व में मात्र 332 लोगों ने आवेदन दिया था. अब तक कुल मिला कर 829 शौचालय निर्माण किया गया है. जबकि दो वर्षोंमें कुल 3375 लोगों ने आवेदन दिया है. वहीं पहली किस्त लेने के बाद 2545 लाभुक ऐसे हैं जिन्होंने अब तक दूसरी किस्त नहीं ली है.
सुस्त है व्यक्तिगत शौचालय का निर्माण
स्वच्छ भारत मिशन के तहत सरकारी मशीनरी पर लगातार सुस्त काम करने का आरोप लगता रहा है. नगर निगम से लेकर अन्य संबंधित विभागों का शौचालय निर्माण के प्रति लापरवाही पहले से जाहिर है. मगर अब आप आदमी भी जिनको शौचालय के लिए प्रोत्साहन राशि की जरूरत है, वो भी तेजी नहीं दिखा रहे हैं. नगर निगम को दिसंबर के अंत तक पूरे 75 वार्डों को खुले में शौच मुक्त घोषित कर देना है. इसके लिए तैयारी की जा रही है.
अंचल स्तर पर कैंप लगा कर आवेदन लिया जा रहा है, लेकिन अपेक्षा के अनुरूप अंचल में शौचालय निर्माण करने के लिए आवेदन कर्ता ही नहीं आ रहे हैं. वहीं नगर निगम को इस वित्तीय वर्ष के अंत तक 10920 व्यक्तिगत शौचालय का निर्माण पूरा करना है. जबकि अब तक मात्र 829 शौचालय का निर्माण ही पूरा किया जा सका है. वहीं वित्तीय वर्ष के आठ माह बीत चुके हैं.
कैंप लगाकर लिये जा रहे आवेदन
तैयारी की जा रही है. दिसंबर तक कई वार्डों को ओडीएफ किया जायेगा. कैंप लगाकर व्यक्तिगत शौचालय के आवेदन लिए जा रहे हैं.
– संजय कुमार दूबे, अपर नगर आयुक्त
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