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मॉनसून सत्र तीसरे दिन : हंगामे के बीच छह विधेयक पारित, नेता प्रतिपक्ष की इस आपत्तिजनक टिप्पणी पर बवाल
पटना : मॉनसून सत्र के तीसरे दिन बिहार विधानसभा में सदन की कार्यवाही हंगामे की भेंट चढ़ गयी. पहली पाली में आठ मिनट और दूसरी में 44 मिनट सदन की कार्यवाही चली. सृजन घोटाले को लेकर विपक्ष के कार्यस्थगन प्रस्ताव को नामंजूर किये जाने के बाद राजद के सदस्य वेल में आ गये और सरकार […]
पटना : मॉनसून सत्र के तीसरे दिन बिहार विधानसभा में सदन की कार्यवाही हंगामे की भेंट चढ़ गयी. पहली पाली में आठ मिनट और दूसरी में 44 मिनट सदन की कार्यवाही चली. सृजन घोटाले को लेकर विपक्ष के कार्यस्थगन प्रस्ताव को नामंजूर किये जाने के बाद राजद के सदस्य वेल में आ गये और सरकार विरोधी नारेबाजी करने लगे.
इस बीच नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने ट्रेजरी बेंच की ओर इशारा करते हुए आपत्तिजनक टिप्पणी की. इस पर सत्ता पक्ष ने भी कड़ी आपत्ति जतायी. नेता प्रतिपक्ष की ओर से सत्ता पक्ष पर की गयी टिप्पणी का सरकार की ओर से पथ निर्माण मंत्री नंदकिशोर यादव ने जवाब दिया और नेता प्रतिपक्ष को अपनी गरिमा में रहने और मर्यादा में बोलने की नसीहत दी.
बिहार विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार चौधरी के हस्तक्षेप के बाद भी विपक्षी विधायक नारेबाजी करते रहे और कार्यवाही आठ मिनट चलने के बाद ही भोजनावकाश तक सदन की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी. सदन की कार्यवाही 11 बजे शुरू होते ही नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने सृजन घोटाला को लेकर कार्यस्थगन प्रस्ताव का रखा. उन्होंने कहा कि पूरे बिहार के खजाने की चोरी हुई है और रुपये की निकासी हुई है.
इस पूरे घोटाले की जानकारी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी को थी. सृजन घोटाला अब सिर्फ भागलपुर तक नहीं रही. अब अररिया, बांका, सहरसा और भोजपुर में भी इसके तार जुड़ गये हैं. आशंका है कि सृजन घोटाला का पैसा विदेश भी भेजा गया है. उन्होंने कहा कि सरकार अपने चहेते अधिकारियों से पूरे मामले की लीपा-पोती करा रही है. इस पर स्पीकर विजय कुमार चौधरी ने कहा कि मंगलवार को भी इसी विषय पर कार्यस्थगन की सूचना की गयी थी.
पेट्रोल-डीजल को जीएसटी से रखा गया है बाहर
विधानसभा ने बुधवार को बिहार काराधान विधेयक (संशोधन एवं विधिमान्यकरण) विधेयक 2017 को स्वीकृति दे दी. विधेयक में बताया गया है कि पेट्रोल, हाइस्पीड डीजल, प्राकृतिक गैस, विमान ईंधन, कच्चा पेट्रोल और मानवीय उपयोग में लायी जानेवाली शराब को अभी जीएसटी से बाहर रखा गया है.
बताया गया कि वैट में क्रूड आयल पर पांच प्रतिशत कर था. बिहार में क्रूड ऑयल की बिक्री नहीं होती है. क्रूड आयल पर पूर्व की तरह पांच प्रतिशत कर लागू रहेगा. बताया गया कि सिविल विमानन मंत्रालय और बिहार सरकार के बीच क्षेत्रीय उड़ान योजना के तहत उपयोग में आनेवाले विमान ईंधन पर एक प्रतिशत कर किये जाने का समझौता किया है. इसलिए एटीएफ पर एक प्रतिशत कर रका गया है.
बिहार चिकित्सा परिषद का होगा गठन
विधानसभा में बुधवार को बिहार चिकित्सा संशोधन विधेयक 2017 को स्वीकृत कर दिया गया. इसके तहत राज्य में बिहार चिकित्सा परिषद की स्थापना होगी. इसमें सरकार द्वारा मामित तीन सदस्य, आर्यभट्ट ज्ञान विवि से नामित दो लोग, निबंधित व्यवसायियों की ओर से निर्वाचित एक महिला व दो अन्य सदस्य, आइएमए बिहार के दो लोग इसके सदस्य होंगे.
राजद के अन्य सदस्यों को इससे अवगत करा दिया गया था कि प्रश्नकाल सभी सदस्यों के लिए होगा और इसमें जनता से जुड़ी समस्याओं का हल निकालने की कोशिश की जाती है.
इधर, उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने सदन के बाहर कहा कि नेता विपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव अभी बच्चे हैं, उन्हें बहुत कुछ सीखना है. अठारह महीने तक उपमुख्यमंत्री की कुरसी रही फिर चली गयी इसका उन्हें गुस्सा है.
ऐसे में सत्ता पक्ष के साथ-साथ विपक्ष का भी उत्तरदायित्व है कि प्रश्नकाल बाधित नहीं होना चाहिए और सुचारु रूप से चलना चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर सारे लोग प्रश्नकाल में ही अपनी बात रखेंगे तो प्रश्नकाल का समय बरबाद हो जायेगा.
आरोप लगाने से पहले अपने गिरेबां में झांके नेता प्रतिपक्ष : नंदकिशोर यादव
नेता प्रतिपक्ष की टिप्पणी पर सरकार की ओर से पथ निर्माण मंत्री नंदकिशोर यादव ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष पद की गरिमा और मर्यादा में रह कर बोलें. कोई भी आरोप लगाने से पहले अपनी गिरेबां में झांके. भ्रष्टाचार करने वाले किसी पर उंगली उठाते हैं, यह हास्यास्पद लगता है.
मुख्यमंत्री-उपमुख्यमंत्री के खिलाफ अगर कोई सबूत है तो पेश करें. उन्होंने कहा कि सृजन की अनियमितता की शुरुआत 2003 से ही हो गयी थी. इस समय उन्हीं के परिवार से मुख्यमंत्री थी और वित्तमंत्री भी उन्हीं के थे. अब अपने पाप को छुपाना चाहते हैं, इसलिए हो-हल्ला कर रहे हैं. वे नहीं चाहते की सदन चले, इसलिए हंगामा कर रहे हैं. मोदी ने कहा, बच्चा हैं तेजस्वी, कुरसी जाने से गुस्सा हैं
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सृजन घोटाले के मामले को लेकर वेल में पहुंचे राजद-कांग्रेस
मॉनसून सत्र के तीसरे दिन बुधवार को विधान परिषद में सदन की कार्यवाही हंगामे की भेंट चढ़ी. सृजन घोटाले के मामले को लेकर राजद को कांग्रेस का साथ मिला. दोनों दलों के सदस्य वेल में पहुंच कर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की.
विपक्षी सदस्यों के शोर-शराबे के कारण लगभग 15 मिनट में ही उपसभापति को सदन की कार्यवाही भोजनावकाश ढाई बजे तक के लिए स्थगित करनी पड़ी. पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी ने उपसभापति से कहा कि आप इस्तीफा दिलवाइये नहीं तो सदन चलने नहीं देंगे. वे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी से इस्तीफे की मांग की.
इससे पहले सदन की कार्यवाही शुरू होते ही कांग्रेस के डॉ दिलीप चौधरी ने कार्य स्थगन प्रस्ताव लाया. उन्होंने कहा कि राज्य के खजाने से 1500 करोड़ रुपये लूट हुयी है. इसकी जांच ठीक से हो. सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश की मॉनीटरिंग में जांच होनी चाहिए. घोटाले में शामिल नाजीर महेश मंडल को पुलिस कस्टडी में इतना टॉरचर किया गया कि उसकी मौत हो गयी. राजद के सुबोध कुमार ने भी कार्य स्थगन प्रस्ताव लाया.उपसभापति मो हारुण रशीद ने नियमन का हवाला देते हुए दोनों कार्य स्थगन को अस्वीकृत किया.
वेल में पहुंचे राजद व कांग्रेस सदस्य
कार्य स्थगन प्रस्ताव अस्वीकृत होने पर कांग्रेस व राजद सदस्य वेल में पहुंचकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. कांग्रेस के डॉ दिलीप कुमार चौधरी, रामचंद्र भारती, डॉ मदन मोहन झा, डॉ तनवीर अख्तर व राजेश राम, राजद के सुबोध कुमार, रण विजय सिंह, राधा चरण सेठ, दिलीप राय, संजय प्रसाद, कमरे आलम हाथ में सरकार विरोधी नारे की तख्ती लिये पहुंचे. कांग्रेस के डॉ अशोक चौधरी अपने सीट पर खड़े रहे.
वहीं पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी अपने सीट पर खड़े होकर बोली कि सृजन घोटाले की जांच जब सीबीआइ को दिया गया है तो बिहार पुलिस क्यों जांच कर रही है. सब लीपापोती करने के लिए हो रहा है. राज्य की जनता की गाढ़ी कमाई लूट ली गयी है. नीतीश कुमार व सुशील मोदी इस्तीफा दे. बगैर इस्तीफा के सदन चलने नहीं देंगे. सदन के बाहर राजद सदस्यों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की.
शोरगुल के बीच विस में छह विधेयक स्वीकृत
बुधवार को भी विधानसभा की दूसरी पाली विपक्ष की नारेबाजी और हंगामें की भेंट चढ़ गयी. इस दौरान बिहार राज्य विश्वविद्यालय सेवा आयोग विधेयक, बिहार चिकित्सा संशोधन विधेयक 2017 सहित छह विधेयक बिना किसी चर्चा के स्वीकृत हो गया. भोजनावकाश के बाद दो बजे जैसे ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने सृजन घोटाले का मामला उठाया.
इसी शोरगुल के बीच उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने बिहार विनियोग अधिकाई व्यय (1981-82, 1986-87, 1989-90, 1993-94 व 1995-96) संख्या दो विधेयक 2017. बिहार काराधन विधि (संशोधन एवं विधिमान्यकरण) विधेयक 2017, शिक्षामंत्री कृष्णनंदन प्रसाद वर्मा ने बिहार राज्य विश्वविद्यालय सेवा आयोग विधेयक 2017. बिहार राज्य विश्वविद्यालय संशोधन विधेयक 2017. नगर विकास मंत्री सुरेश शर्मा ने बिहार राज्य जल व वाहित मल बोर्ड (निरसन) विधेयक 2017 तथा स्वास्थ्य चिकित्सा संशोधन विधेयक 2017 सदन के पटल पर रखा. सदन ने ध्वनि मत से सभी विधेयकों की स्वीकृति दे दी.
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