मुजफ्फरपुर: शिक्षा सत्र 2014-2015 शुरू हो चुका है. इसके साथ ही स्कूल चलो अभियान चला कर बच्चों के दाखिले का प्रयास शुरू किया जा चुका है. इन सबके बीच स्कूलों में बच्चों के बैग में किताब है ही नहीं, अब बच्चे पढ़ें तो कैसे. शिक्षक भी मानते हैं कि किताब के बिना बच्चों की शिक्षा पूरी नहीं हो सकती है. स्कूलों में लगने वाली सभी विषयों की किताबें अभी तक शिक्षा विभाग की ओर से नहीं भेजी गई है. जबकि विभाग की ओर से जून में ही डिमांड भेजी जा चुकी है.
बताया जाता है कि विभाग से अब तक कुछ ही किताबें आयी हैं. ऐसे में छात्रों को नि:शुल्क प्रदान की जाने वाली किताबें आधी-अधूरी ही मिल पा रही हैं. जिला शिक्षा पदाधिकारी मुस्तफा हुसैन अंसारी ने माना कि कुछ किताबें अभी तक उपलब्ध नहीं हो पायी है. कुछ किताब सर्व शिक्षा अभियान के तहत आनी थीं और कुछ बेसिक शिक्षा परिषद भेजेगा.
यह किताबें नहीं आयीं
डीइओ ने बताया कि कक्षा दो की कलरव गिनतारा, कक्षा चार की हमारा परिवेश, परख, संस्कृत, रेनबो, कक्षा पांच की परख, कलरव, गिनतारा, हमारा परिवेश, संस्कृत, कार्य पुस्तक, कक्षा छह का गणित, कक्षा सात की गृह शिल्प, कक्षा आठ की मंजरी, हमारा जीवन, इतिहास, विज्ञान, विर्तका और हमारा व्यक्तित्व आदि किताबें अभी नहीं आ पायी है. इनकी डिमांड भेजी जा चुकी है. उम्मीद है कि एक सप्ताह के अंदर सभी किताबें उपलब्ध हो जायेंगी.