उदासीनता. आइसीयू में भरती होने वाले रोगी मुंगेर से हो रहे रेफर
Advertisement
चिकित्सक की ड्यूटी कागज पर
उदासीनता. आइसीयू में भरती होने वाले रोगी मुंगेर से हो रहे रेफर सदर अस्पताल में लंबे इंतजार के बाद आइसीयू सेवा शुरू तो हो गयी, लेकिन इसका लाभ प्रभावशाली मरीजों को ही मिलता है. उन्हें ही जगह मिलती है. बांकी को बाहर का रास्ता दिखा दिया जाता है. मुंगेर : एक जमाने के बाद सदर […]
सदर अस्पताल में लंबे इंतजार के बाद आइसीयू सेवा शुरू तो हो गयी, लेकिन इसका लाभ प्रभावशाली मरीजों को ही मिलता है. उन्हें ही जगह मिलती है. बांकी को बाहर का रास्ता दिखा दिया जाता है.
मुंगेर : एक जमाने के बाद सदर अस्पताल में आइसीयू सेवा को आरंभ तो किया गया, पर इसका असल फायदा प्रभावशाली मरीजों को ही मिल पाता है़ गरीब व बिना प्रभाव वाले मरीजों को यहां के चिकित्सक सीधे हाईयर सेंटर का रास्ता दिखा कर रेफर कर देते हैं. शनिवार को सदर अस्पताल में एक ऐसे ही हृदय रोग से ग्रसित मरीज मिला जिसे इलाज के लिए आइसीयू में भरती किया जाना चाहिए था, पर चिकित्सक ने उक्त मरीज को आइसीयू में भरती नहीं किया तथा उसे हाइयर सेंटर के लिए रेफर कर दिया़ ऐसे में आम लोगों को अपने ही जिले में आइसीयू सेवा से वंचित होना पड़ रहा है़
सदर अस्पताल में आइसीयू सेवा की व्यवस्था पूरी तरह लचर है. यहां 24 घंटे डाॅक्टर की डयूटी रहती है, लेकिन वह सिर्फ कागज पर. आइसीयू में कभी भी डाक्टर मौजूद नहीं रहते हैं. जरूरत के अनुसार डाक्टर को बुलाया जाता है. इसके कारण आम लोगों को इसका लाभ नहीं मिल पाता है.
धरहरा प्रखंड के माताडीह गांव निवासी 73 वर्षीय नरेश प्रसाद हृदय रोग से पीड़ित हैं. उन्हें परिजनों ने इलाज के लिए सदर अस्पताल में भरती कराया़ चिकित्सक ने मरीज की सभी जांच रिपोर्ट देखने के बाद उसे तत्काल पुरुष मेडिकल वार्ड में भरती कर दिया़ मरीज के पुत्र संजीव कुमार ने चिकित्सक से कहा कि उसके पिता को आइसीयू में ही भरती कर दिया जाये़ पर चिकित्सक ने उसे जबाव दिया कि आइसीयू में इसे देखने के लिए बार-बार कौन जायेगा, यहां तो बगल में ही सिस्टर रहती है़ वह ज्यादा ख्याल रखेगी़ इसके बाद चिकित्सक ने उसके पिता को आइसीयू में भरती के लिए हाईयर सेंटर रेफर कर दिया़
23 मार्च को शहर के बेकापुर निवासी व्यावसायी संजय कुमार खेतान इलाज के लिए सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में भरती कराया, जहां ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक ने मरीज को आइसीयू भेज दिया़ मरीज को जब आइसीयू में भरती कराया गया, तब वहां चिकित्सक मौजूद ही नहीं थे़ काफी देर बाद चिकित्सक पहुंचे तथा मरीज को पटना रेफर कर दिया़ इस मरीज का इलाज यहां के आइसीयू में भी हो सकता था, पर चिकित्सकों के भाषाई जाल में मरीज के परिजन उलझ गये व मरीज को पटना लेकर चले गये़
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement