संवाददाता, अरवल सदर
मंगलवार को बिहार मुक्त विद्यालयी शिक्षण एवं परीक्षा बोर्ड द्वारा आयोजित प्रथम सार्वजनिक परीक्षा 2013 के अंतर्गत वर्ग 10 वीं की अंगरेजी विषय की परीक्षा में शामिल परीक्षार्थी उमैराबाद हाइस्कूल परीक्षा केंद्र पर उस समय हैरान हो गये, जब अंगरेजी विषय के प्रश्न पत्र में संस्कृत का प्रश्न, तो किसी में विज्ञान, हिंदी, सामाजिक विज्ञान का प्रश्न शामिल था. परीक्षार्थियों ने सवाल पढ़ने के साथ ही तैनात शिक्षकों से सवाल किया, फिर भी शिक्षकों ने उन्हें परीक्षा देने के लिए कहा. जब इसकी भनक मीडिया को लगी तो उन्होंने केंद्राधीक्षक सह प्रधानाध्यापक से इस बारे में पूछा. तों उन्होंने बताया कि यदि प्रश्न पत्र में इतनी अशुद्धियां है तो इसमें मेरी क्या गलती. जो बोर्ड द्वारा प्रश्न पत्र भेजा गया है, उसी के आधार पर परीक्षा दी जा रही है. लेकिन सवाल यह उठता है कि सरकार द्वारा गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा के लिए तरह-तरह की योजनाएं चलायी जा रही है, वहीं बोर्ड द्वारा इतनी बड़ी गलती प्रश्न पत्र में किया जाना कहीं न कहीं छात्रों के भविष्य पर सवालिया निशान छोड़ता है.