सराहनीय. सिविल सर्जन ने किया मशीन का उद्घाटन, होने लगी सिरम की जांच
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सीबीनेट मशीन से तुरंत मिलने लगी रिपोर्ट
सराहनीय. सिविल सर्जन ने किया मशीन का उद्घाटन, होने लगी सिरम की जांच मरीजों को हुई राहत, रिपोर्ट मिलते ही होने लगी रोग की पुष्टि जहानाबाद नगर : सदर अस्पताल स्थित जिला यक्ष्मा केंद्र में अत्याधुनिक सीबीनेट मशीन लगायी गयी. मशीन का उद्घाटन सिविल सर्जन डॉ विजय कुमार द्वारा किया गया. इस मशीन के लगने […]
मरीजों को हुई राहत, रिपोर्ट मिलते ही होने लगी रोग की पुष्टि
जहानाबाद नगर : सदर अस्पताल स्थित जिला यक्ष्मा केंद्र में अत्याधुनिक सीबीनेट मशीन लगायी गयी. मशीन का उद्घाटन सिविल सर्जन डॉ विजय कुमार द्वारा किया गया. इस मशीन के लगने से मरीजों को बेहतर जांच की सुविधा मिलने लगी. जांच रिपोर्ट भी तत्काल मिलने लगी जिससे उनके मर्ज का इलाज भी शुरू हुआ. उद्घाटन के बाद सीबीनेट मशीन से सिरम की जांच भी की गयी तथा जांच रिपोर्ट के आधार पर मरीजों को इलाज की सुविधा भी मिलने लगी. सीबीनेट मशीन लगने से अब अधिक-से-अधिक मरीजों को इसका लाभ मिलेगा. सिविल सर्जन ने कहा कि मरीजों को अत्याधुनिक सुविधाएं देने का लक्ष्य है.
इसके लिए जो भी जरूरी होगा वह किया जा रहा है. इस मशीन के लगने से यहां आनेवाले मरीजों को इलाज में सहयोग मिलेगा. सदर अस्पताल स्थित यक्ष्मा केंद्र में प्रतिदिन 10 से 12 वैसे मरीज आते हैं जिन्हें टीवी की शिकायत या टीवी होने की आशंका होती है. ऐसे मरीजों को जांच के लिए जिला यक्ष्मा केंद्र में भेजा जाता है, जहां मरीजों के बलगम की जांच की जाती है. इस जांच में दो दिनों से अधिक का समय लगता था. जांच रिपोर्ट आने के बाद ही यह पुष्टि होती थी कि मरीज को टीवी है या नहीं. ऐसे में इस अत्याधुनिक मशीन के लगने से अब जांच के तत्काल बाद यह रिपोर्ट मिल जायेगी कि मरीज को टीवी है
या नहीं और उसका इलाज शुरू हो जायेगा. सिविल सर्जन ने बताया कि यह जांच जिले में पहली बार प्रारंभ हुई है जो टीवी के लिए नि:शुल्क एवं उच्चतम जांचों में से एक है. जांच की सुविधा पूर्व से टीवी की दवा खानेवाले मरीज, फेल्युअर एवं एचआईवी इन्फेक्टेड मरीजों को मिलेगी. उद्घाटन के दौरान डॉ पीके सिंह, डॉ ध्रुव प्रसाद गुप्ता, डॉ ब्रज भूषण प्रसाद, डॉ श्रवण कुमार आदि उपस्थित थे.
टेक्नीशियन को दिया गया प्रशिक्षण
सीबीनेट मशीन को इंस्टॉल करने राज्य से आये इंजीनियर दीपक कुमार द्वारा जिले के प्रयोगशाला प्रावैधिकी खुलक अहमद कादरी एवं वरीय यक्ष्मा प्रयोगशाला पर्यवेक्षक कमलेश ठाकुर को इस मशीन के संबंध में प्रशिक्षण दिया गया. वहीं डाटा इंट्री ऑपरेटर रविशंकर को भी विशेष प्रशिक्षण दिया गया ताकि मशीन का सही तरह से उपयोग हो सके और उसका रिपोर्ट सही प्राप्त की जा सके. इस मौके पर काको प्रखंड के एनवां निवासी एक मरीज के सिरम की जांच भी की गयी.
पूर्व में माइक्रोस्कोप से होती थी जांच
सदर अस्पताल स्थित जिला यक्ष्मा केंद्र में पूर्व में माइक्रोस्कोप की सहायता से बलगम की जांच की जाती थी. इस जांच में काफी समय लगता था. इस दौरान मरीज मानसिक रूप से परेशान रहता था कि टीवी है भी या नहीं. माइक्रोस्कोप से जांच में दो दिनों का समय लगता था जिसके बाद ही मरीज को जांच रिपोर्ट मिल पाती थी. कई बार तो बलगम की जांच में स्पष्ट नहीं होने पर मरीजों के खून की जांच करायी जाती थी जिसकी सुविधा अस्पताल में नहीं थी. ऐसे में मरीज निजी जांच घरों में खून की जांच कराने जाते थे, जहां जांच के नाम पर हजारों रुपये लिये जाते थे.
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