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एक साल में दोगुना हुआ मलेरिया का आंकड़ा
गया : जिले में मलेरिया ने खतरनाक संकेत दिये हैं. 2015 की तुलना में 2016 में यह आंकड़ा सीधा दोगुना हो गया है. 2015 में जिले में मलेरिया के 1284 मामले आये थे, जबकि 2016 में 2584 हो गया. इस साल हालात काबू में रहे इसके लिए मलेरिया विभाग ने अभी से ही तैयारी शुरू […]
गया : जिले में मलेरिया ने खतरनाक संकेत दिये हैं. 2015 की तुलना में 2016 में यह आंकड़ा सीधा दोगुना हो गया है. 2015 में जिले में मलेरिया के 1284 मामले आये थे, जबकि 2016 में 2584 हो गया. इस साल हालात काबू में रहे इसके लिए मलेरिया विभाग ने अभी से ही तैयारी शुरू कर दी है. जय प्रकाश नारायण अस्पताल स्थित मलेरिया विभाग में जिले के विभिन्न क्षेत्रों की आशा को प्रशिक्षण दिया जा रहा है. विभाग के अधिकारी इन आशा को मलेरिया की जांच करने व उस वक्त आराम हो इसके लिए कौन दवा दी जाये, इसकी जानकारी दी जा रही है. मलेरिया इंस्पेक्टर अजय कुमार ने बताया कि आशा प्रशिक्षित होंगी तब जा कर ही मलेरिया से पीड़ित लोगों का सही इलाज हो सकेगा.
नगर प्रखंड, परैया व टिकारी में अधिक मामले : विभाग के पास जो दो साल में मामले आये हैं, उनमें सबसे अधिक मामले नगर प्रखंड, परैया व टिकारी से हैं. दोनों साल दर्ज किये गये मामलों में 80% से अधिक इन तीनों जगहों से ही रहे हैं. अधिकारियों के मुताबिक नगर प्रखंड में जगन्नाथपुर नामक किसी स्थान में पहाड़ है. कई वर्षों पहले इन पहाड़ों में विस्फोट कर पत्थर निकाले जाते थे. इस तरह से इस जगह पर एक बड़ा गड्ढा बन गया, यहां पानी भर गया. यह पानी अब तक जमा है. बारिश के मौसम से लेकर नवंबर तक इसी मे मच्छर पनपते हैं. ये मचछर नगर प्रखंड के कुछ गांव व टिकारी-परैया के क्षेत्र में भी फैल जाते हैं.
इस साल भी मंडरा रहा खतरा
बीते दो सालों में मलेरिया के मामले तेजी से बढ़े हैं,इस साल भी खतरा मंडरा रहा है. कोशिश हो रही है कि आशा को अभी से ही प्रशिक्षित किया जाये, ताकि मलेरिया के संकेत मिलते ही इसे काबू किया जा सके.
अजय कुमार, मलेरिया इंस्पेक्टर
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