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महिलाओं को और मदद की जरूरत

बोधगया: रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन ने कहा कि अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने में अब महिलाएं भी अहम भूमिका निभा रही हैं. चाहे वह घरेलू हो या फिर सामाजिक क्षेत्र. तरक्की की राह पर चल पड़ी गांव की महिलाओं को और प्रोत्साहित व मदद करने की जरूरत है. वह बुधवार को बोधगया के शेखवारा […]

बोधगया: रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन ने कहा कि अर्थव्यवस्था को सुदृढ़ करने में अब महिलाएं भी अहम भूमिका निभा रही हैं. चाहे वह घरेलू हो या फिर सामाजिक क्षेत्र.

तरक्की की राह पर चल पड़ी गांव की महिलाओं को और प्रोत्साहित व मदद करने की जरूरत है. वह बुधवार को बोधगया के शेखवारा गांव में स्वयं सहायता समूह की महिलाओं से रू-ब-रू हो रहे थे. इस दौरान अन्नपूर्णा ग्राम संगठन की सदस्यों ने आरबीआइ गवर्नर व विश्व बैंक के अधिकारियों को गरीबी से बाहर निकलने के राज बताये. महिलाओं ने कहा कि वह किस तरह मुफलिसी के दलदल में फंसी थीं और जीविका के सहयोग से पहले स्वयं सहायता समूह व बाद में ग्राम संगठनों का गठन होने के बाद खुशहाली की जिंदगी जी रही हैं. अब उन्हें सूदखोरों से मुक्ति मिल गयी है. बैंकों से मिले ऋण के सहारे व्यवसाय कर रही हैं. बैंक बैलेंस भी मजबूत हो रहा है.

बैंक से मिले ऋण से मुरगी पालन, सूअर पालन, गाय पालन, अगरबत्ती निर्माण, श्री विधि से खेती करने सहित पीडीएस की दुकान भी चला रही हैं. चूल्हा-चौका तक सीमित रहने वाली महिलाएं गांवों में शौचालय निर्माण कराने, जीवन बीमा कराने, बच्चों को स्कूल भेजने व 18 साल की कम उम्र की लड़कियों की शादी नहीं होने देने आदि मुद्दों पर जागरूकता फैलाने में जुटी हैं. उनके संगठन की कई महिलाओं ने झारखंड के पाकुड़ जिले में जाकर स्वयं सहायता समूह के गठन करने में दिशा-निर्देश भी दिया है. करीब दो घंटे तक स्वयं सहायता समूह की कार्यप्रणाली की जानकारी लेने के बाद गवर्नर ने उनसे कई सवाल भी पूछे. उन्होंने समूह की महिलाओं द्वारा स्वरोजगार के लिए किये गये प्रयास व उत्पाद की भी जानकारी ली. संगठन की महिलाओं ने गवर्नर से महिला बैंक खोलने की मांग की. हालांकि, महिलाओं को बताया गया कि इसकी पहल हो चुकी है व हो सकता है कि भविष्य में उनके गांव में भी महिला बैंक खोला जाये.

इससे पहले गवर्नर ने महाबोधि मंदिर में पूजा-अर्चना भी की. कार्यक्रम में गया के डीएम बाला मुरुगन डी, डीडीसी गिरिवर दयाल सिंह, एसडीओ मकसूद आलम, बीडीओ अंजु कुमारी, जीविका के मुख्य कार्यपालक पदाधिकारी अरविंद कुमार चौधरी, जीविका के जिला परियोजना प्रबंधक अरूनाभ चंद्र वर्मा सहित आरबीआइ, पटना से मनोज कुमार वर्मा, विश्व बैंक के नीतू झा, शबनम सिंह, तनेश्री सहित अन्य मौजूद थे.

लिखे नोट फिलहाल अमान्य नहीं
आरबीआइ के गवर्नर रघुराम राजन ने कहा कि स्याही लगे व लिखे नोटों को फिलहाल अमान्य नहीं किया जायेगा. लेकिन, ज्यादा डैमेज नोटों को वापस लेने की प्रक्रिया जारी है.

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