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न्याय के लिए भटक रहा रंजीत

अनदेखी. 28 फरवरी की हत्या के आरोपित पुलिस की पकड़ से अब भी दूर ! मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर मां की हत्या करनेवालों को पकड़ने की मांग की गया : बेलागंज थाना क्षेत्र के छतीसा गांव में 28 फरवरी को हुई हत्या के मामले में अब तक कातिलों को पकड़ा नहीं जा सका है. […]

अनदेखी. 28 फरवरी की हत्या के आरोपित पुलिस की पकड़ से अब भी दूर !
मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर
मां की हत्या करनेवालों को पकड़ने की मांग की
गया : बेलागंज थाना क्षेत्र के छतीसा गांव में 28 फरवरी को हुई हत्या के मामले में अब तक कातिलों को पकड़ा नहीं जा सका है. मृतका सुनीता देवी का बेटा रंजीत कुमार हत्यारों की गिरफ्तारी की मांग लेकर एसएसपी से लेकर डीजीपी कार्यालय तक भटक रहा है. अब उसने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नाम पत्र लिखा है. उसने कहा कि इस मामले में बेलागंज थाने में एफआइआर भी दर्ज करायी गयी है. लेकिन, अब तक इस मामले में आरोपितों की गिरफ्तारी नहीं हुई.
परेशान करते हैं आरोपित : रंजीत ने कहा कि इस मामले के आरोपित उसे व उसके परिवार को डराते-धमकाते हैं और सुलह करने को कहते हैं. ऐसा नहीं करने पर अपहरण कर हत्या करने की धमकी भी दे रहे हैं. रंजीत ने सीएम को लिखे पत्र में कहा है कि उसकी दिव्यांग बहन के साथ भी उन लोगो ने मारपीट की. उसकी बहन बोल नहीं सकती है. ऐसे में उसके लिए खतरा बना रहता है.
रंजीत ने बताया कि इन लोगों की वजह से उसके पिता जितेंद्र कुमार डरे हुए रहते हैं.
सात अप्रैल को किया था हत्या का प्रयास : रंजीत ने बताया कि सात अप्रैल की रात आठ बजे वह बेला बाजार से घर जा रहा था. इस दौरान कथित तौर पर पूर्व मुखिया मोहम्मद इश्तेयाक, मोहम्मद मुश्ताक व अन्य ने उसे घेर लिया और जान से मारने की कोशिश की.
लेकिन, इस दौरान वहां कुछ ग्रामीण जमा हो गये, तो वह लोग भाग गये. इसके बाद से ही वह लोग डरे हुए हैं. उसने सीएम से इस मामले में न्याय दिलाने की मांग की है. इस संबंध में एसएसपी ने बताया कि सभी आरोपितों के खिलाफ वारंट के लिए कोर्ट में अर्जी दी गयी है. उनकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है. पीड़ित व्यक्ति गुरुवार को जनता दरबार में भी आया था.
खेत में मारी गयी थी गोली
रंजीत ने बताया कि 28 फरवरी को दिन के 1:30 बजे छतीसा गांव के जितेंद्र कुमार की पत्नी सुनीता देवी अपने खेत में घास काट रही थी. रंजीत के चाचा भी उसी वक्त खेत की ओर जा रहे थे. इस दौरान उन्हें गोलियों की आवाज सुनाई दी. वह जब खेत पर पहुंचे, तो देखा की सुनीता देवी खेत में पड़ी थी और वहां पर कुछ लोग खड़े थे. सुनीता को गोली लगी थी.
उन लोगों उसे फिर से दो गोली मारी. इसके बाद वह मर गयी. रंजीत के चाचा गांव की ओर शोर करते हुए भागे. इसके बाद कई लोग खेत की ओर पहुंचे. लाश को ठिकाने लगाने के उद्देश्य वहां मौजूद एक व्यक्ति को गांव वालों ने पकड़ कर पुलिस के हवाले कर दिया. रंजीत ने बताया कि इस मामले में उसके चाचा ने बेलागंज थाने में मोहम्मद अज्जु, मोहम्मद सागिर, मोहम्मद नन्हु, मोहम्मद झुन्नु, मोहम्मद सन्नु, मोहम्मद दिलशाद, मोहम्मद सद्दाम, मोहम्मद सोनू, मोहम्मद मिस्टर, मोहम्मद बेलुन व मोहम्मद हारुन को नामजद आरोपित बनाया है. इनमें से सिर्फ मोहम्मद दिलशाद जिसे लोगों ने पकड़ा था, पुलिस की गिरफ्त में है. बाकी सभी आरोपित अब तक पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं.
रंजीत ने बताया कि घटना के दिन ये लोग नीलगाय का शिकार करने निकले थे. इसी दौरान इन लोगों में से किसी एक के बंदूक से निकली गोली उसकी मां के जांघ में लगी. दर्द से तड़पती उसकी मां कहीं इस बात की शिकायत पुलिस में न कर दें, शायद इस वजह से ही उन लोगों उसकी मां को दो और गोली मार कर जान ले ली.

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