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होल्डिंग टैक्स वृद्धि स्थगित

गया: पितृपक्ष व हजयात्र को सफलतापूर्वक संपन्न कराने में लगे अधिकारी, कर्मचारी, सामाजिक कार्यकर्ता, स्वयंसेवी संस्थानों व रजाकारों को सम्मानित करने के लिए गया कॉलेज के एकता भवन में गुरुवार को समारोह हुआ. इसका उद्घाटन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया. उन्होंने इस मौके पर नगर विकास एवं आवास विभाग की ओर से समेकित आवासीय एवं […]

गया: पितृपक्ष व हजयात्र को सफलतापूर्वक संपन्न कराने में लगे अधिकारी, कर्मचारी, सामाजिक कार्यकर्ता, स्वयंसेवी संस्थानों व रजाकारों को सम्मानित करने के लिए गया कॉलेज के एकता भवन में गुरुवार को समारोह हुआ.

इसका उद्घाटन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया. उन्होंने इस मौके पर नगर विकास एवं आवास विभाग की ओर से समेकित आवासीय एवं स्लम विकास कार्यक्रम के तहत गया शहर के आठ स्लम क्षेत्रों में रहनेवाले 1691 लाभार्थियों के आवास निर्माण के लिए 44.59 करोड़ व बोधगया में शहरी गरीबों के लिए बुनियादी सुविधाएं योजना के तहत 10 स्लम क्षेत्रों में रहनेवाले लोगों के लिए 54.57 करोड़ की लागत से दो हजार आवास बनाने के लिए रिमोट दबा कर आधारशिला रखी. उन्होंने बताया कि इन योजनाओं को मार्च 2015 तक पूरा कर लेना है. गया शहर में पानी की समस्या का निदान एशियन डेवलपमेंट बैंक से 160 करोड़ का ऋण लेकर किया जायेगा.

शहर के 17 घाटों व 16 तालाबों के सौंदर्यीकरण व जीर्णोद्धार के लिए 50 करोड़ खर्च किये जायेंगे. होल्डिंग टैक्स की वृद्धि को स्थगित करने की सरकार की घोषणा पर सेंट्रल बिहार चैंबर ऑफ कॉमर्स गया के अधिकारियों ने सीएम को बुद्ध प्रतिमा भेंट कर शाल ओढ़ा कर सम्मानित कर धन्यवाद दिया. मुख्यमंत्री ने कहा कि काम कराने के लिए लोग कहने आते हैं, पर हो जाने पर धन्यवाद देने कोई नहीं आता.

चैंबर के लोग जब उनसे विधान मंडल चल रहा था, तो कहने गये थे कि होल्डिंग टैक्स बढ़ाया जाना अभी राज्य की जनता पर अधिभार के समान है. सीएम ने चुटकी लेते हुए कहा कि तब हमने कहा था कि अभी अलग हुए तो कुछ ही दिन हुआ है. नगर विकास मंत्रलय तो आप ही के पास था. खैर छोड़िये, इन बातों को. टैक्स वृद्धि को स्थगित कर पर्व-त्योहार निश्चित होकर मनाये, तोहफा दिया गया है. होल्डिंग टैक्स के लिए अब बोर्ड का गठन कर दिया गया है. सीएम ने कहा कि निश्चिंत होकर एक-दूसरे के उत्सव में शरीक हों. उन्होंने कहा, ‘बोधगया में ब्लास्ट की घटना दुखद थी. वह घटना के तुरंत दो-चार घंटे के अंदर गये थे. लोगों ने नारा दिया, मुङो वापस जाने के लिए कह रहे थे. भई मैं कहां जाऊं . इसी मिट्टी में मगध क्षेत्र के हैं.

हम कहां जायेंगे. मुङो बाहर जाने के लिए कहने वाले कहीं बाहर न चलें जायें!’ पितृपक्ष मेला के संदर्भ में मुझसे हवाई यात्र व राजगीर यात्र के दौरान पर्यटकों ने कहा कि सब ठीक है. बिहार की स्थिति भी ठीक हुई, पर पितृपक्ष मेले की व्यवस्था अच्छी नहीं रहती. शिकायतें आती थीं. सेवा यात्र में जब 10 मई को गया में बैठक की थी, तो इसका आयोजन ठीक ढंग से तैयारी कर करने का निर्देश दिया गया था. शिकायत न सुनने को मिली, इससे जाहिर है कि व्यवस्था सुधरी है. पितृपक्ष मेले में आठ लाख तीर्थयात्री आये और हज यात्र पर 6180 यात्री मक्का गये. प्रशासन के लिए एक साथ दोनों को सफल कराना चुनौती भरा था. बावजूद इसके व्यापक इंतजाम किये गये. ऐसे में हौसला औफजाई के लिए उन्हें सम्मानित किया जाना जरूरी था. सो आज आप सबों के बीच सम्मान देने के लिए हाजिर हूं. छह सौ पदाधिकारियों, कर्मचारियों, रजाकारों, समाजसेवियों, स्वयंसेवी संस्था के लोगों को मुख्यमंत्री ने शाल व प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया.

इसमें झाड़ूकश मजदूर से लेकर आयुक्त, आइजी, डीआइजी, डीएम, एसएसपी स्तर के अधिकारी भी शामिल थे. मुख्यमंत्री के सम्मान में स्वागत गान कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय, रहीम बिगहा (चाकंद) की बच्चियों ने प्रस्तुत किया. इस मौके पर सूचना प्रावैधिकी मंत्री सह गया जिले के प्रभारी मंत्री शाहिद अली खान, विधानसभा अध्यक्ष उदय नारायण चौधरी, अनुसूचित जाति/जनजाति कल्याण मंत्री जीतन राम मांझी, विधायक कृष्णनंदन यादव, डॉ अनिल कुमार, ज्योति देवी, मुख्य सचिव अशोक कुमार सिन्हा, डीजीपी अभयानंद, गृह सचिव आमिर सुबहानी, नगर विकास विभाग के सचिव एस सिद्धार्थ, मुख्यमंत्री के सचिव संजय कुमार सिंह, सचिव अंजनी कुमार सिंह, सचिव अतीश चंद्रा, आपदा प्रबंधन व राजस्व विभाग के सचिव व्यास जी, मदरसा बोर्ड के अध्यक्ष ममिताज आलम आदि शामिल थे. यहां के बाद मुख्यमंत्री बोधगया गये व महाबोधि मंदिर परिभ्रमण के बाद पटना रवाना हो गये.

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