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शौच करने जा रही महिला को ट्रक ने रौंदा, तोड़ा दम

आक्रोश. घटना के बाद चौसा-मोहनिया मार्ग को लोगों ने किया छह घंटे जाम बक्सर/चौसा : मोहनिया-चौसा मुख्य मार्ग पर एक बेकाबू ट्रक ने शौच करने जा रही एक महिला को रौंद डाला जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गयी. घटना के बाद चालक वाहन सहित फरार हो गया. सूचना मिलते ही ग्रामीण आक्रोशित हो […]

आक्रोश. घटना के बाद चौसा-मोहनिया मार्ग को लोगों ने किया छह घंटे जाम

बक्सर/चौसा : मोहनिया-चौसा मुख्य मार्ग पर एक बेकाबू ट्रक ने शौच करने जा रही एक महिला को रौंद डाला जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गयी. घटना के बाद चालक वाहन सहित फरार हो गया. सूचना मिलते ही ग्रामीण आक्रोशित हो उठे और मुआवजे की मांग करते हुए बनारपुर गांव के समीप सड़क को जाम कर यातायात को ठप कर दिया. एएसपी शैशव यादव तथा बीडीओ के आश्वासन के बाद जाम को हटाया गया. शव को पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा गया.
यह पंचायत 2016 में ही ओडीएफ घोषित हो चुकी है. जानकारी के अनुसार मुफस्सिल थाना क्षेत्र के बनारपुर गांव निवासी ददन गोंड की पत्नी रूनिता देवी शनिवार की सुबह शौच के लिए घर से जा रही थी. इसी दौरान तेज रफ्तार ट्रक ने महिला को रौंद डाला जिससे उसकी मौत हो गयी. घटना के बाद काफी देर तक अफरातफरी का माहौल कायम हो गया.
मुख्य मार्ग पर वाहनों की लगी रही लंबी कतार : शनिवार की सुबह चौसा-मोहनिया मुख्य मार्ग पर हुए सड़क हादसे में मौत के बाद ग्रामीण आक्रोशित हो उठे और मुआवजे की मांग करते मुख्य मार्ग को जाम कर दिया. छह घंटे तक मुख्य मार्ग जाम रहने के कारण सड़क की दोनों तरफ वाहनों की लंबी कतारें लग गयीं जिससे यात्रियों को आने-जाने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा. पुलिस ने कई बार गुस्साये लोगों को समझाने का भी प्रयास किया लेकिन मुआवजे की मांग को लेकर लोग अड़े रहे. इस दौरान कई यात्री पैदल ही अपने गंतव्य स्थान तक पहुंचे.
पुलिस को शव उठाने से ग्रामीणों ने रोका : बीच सड़क पर महिला के शव को रखकर ग्रामीण प्रदर्शन कर रहे थे. ग्रामीणों का कहना था कि मृतक के परिजन को चार लाख रुपये, तीन डिसमिल जमीन दी जाये. शव को पुलिस ने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजना चाहा तो ग्रामीणों ने इसका विरोध किया. ग्रामीणों का कहना था कि जब तक यह राशि नहीं दी जायेगी शव को उठने नहीं दिया जायेगा. जिलाधिकारी को भी घटनास्थल पर बुलाने की मांग कर रहे थे.
ओडीएफ का सच आया सामने
बनारपुर पंचायत सात दिसंबर, 2016 को पूर्ण रूप से ओडीएफ घोषित कर दी गयी थी. जिला प्रशासन के आंकड़े के अनुसार पूर्ण रूप से ओडीएफ पंचायत है. ऐसे में खुले में शौच करने जा रही महिला की मौत ओडीएफ के दावे की पोल खोल रही है. ग्रामीणों ने बताया कि ददन के घर में शौचालय होता तो इस तरह की घटना नहीं होती. ददन की शादी छह माह पहले ही हुई थी. जबकि जिला प्रशासन का दावा है कि बनारपुर पंचायत के सभी घरों में शौचालय का निर्माण हो चुका है.
छह माह में ही छूट गया रूनिता का ददन का साथ : बनारपुर गांव में शनिवार को हुए सड़क दुर्घटना में पत्नी की हुई मौत से ददन पूरी तरह टूट चुका है. उसे क्या पता था कि इसी साल मई माह में जिसके साथ सात जन्मों तक साथ रहने के लिए सात फेरे लेकर विवाह किया हूं वह मात्र छह माह में ही साथ छोड़ देगी. भोजपुर जिले के बिहिया गांव में ददन की शादी रूनिता के साथ धूमधाम के साथ मई माह में ही हुई थी और मात्र छह माह में ही ददन की दुनिया से रूनिता रुखसत हो गयी.

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