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एसडीआरएफ इंस्पेक्टर गणेश जी ओझा का खगड़िया तबादला

भागलपुर : बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के भागलपुर एसडीआरएफ इंस्पेक्टर गणेश जी ओझा का तबादला खगड़िया कर दिया है. वहां पर तैनात इंस्पेक्टर दीपक झा को यहां भेजा गया है. प्राधिकरण की ओर से इंस्पेक्टर के तबादले का निर्देश जल्द ही जिला प्रशासन को भेजा जायेगा. बताया जाता है कि कार्तिक पूर्णिमा में बड़े […]

भागलपुर : बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के भागलपुर एसडीआरएफ इंस्पेक्टर गणेश जी ओझा का तबादला खगड़िया कर दिया है. वहां पर तैनात इंस्पेक्टर दीपक झा को यहां भेजा गया है. प्राधिकरण की ओर से इंस्पेक्टर के तबादले का निर्देश जल्द ही जिला प्रशासन को भेजा जायेगा. बताया जाता है कि कार्तिक पूर्णिमा में बड़े पैमाने पर घाट पर नहानेवालों के पहुंचने को देखते हुए पर्व के बाद इंस्पेक्टर नयी जगह पर योगदान देंगे. इधर, जिलाधिकारी आदेश तितरमारे के निर्देश पर आपदा शाखा ने विभिन्न घाट पर रेडक्रॉस के गोताखोर की प्रतिनियुक्ति की है, जिससे घाट पर डूबने जैसी घटना होने पर तत्काल राहत कार्य किया जा सके.

इसके अलावा घाटों पर एसडीआरएफ की टीम भी अलर्ट रहेगी. बता दें कि जिले में डूबने की घटना को लेकर आपदा विभाग तैयार नहीं होने की खबर को प्रभात खबर के 29 अक्तूबर के अंक में प्रमुखता से प्रकाशित हुआ था. इसमें बताया गया कि 150 से अधिक घाट पर डूबती जिंदगी को बचाने के लिए एसडीआरएफ के 44 सदस्य हैं. ये सदस्य भी लंबी प्रक्रिया के कारण समय पर डूबने वाले को बचाने के लिए नहीं पहुंच पाते हैं.

जिला में एसडीआरएफ से संपर्क का कोई टॉल फ्री नंबर नहीं
किसी भी प्रखंड में कोई डूबने की घटना होने पर आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की एसडीआरएफ टीम से संपर्क का कोई सीधा रास्ता नहीं है. एसडीआरएफ को बुलाने की प्रक्रिया भी पेचीदा है. इस मामले में आपदा शाखा के प्रभारी या फिर शाखा की अनुमति मिलने पर ही एसडीआरएफ की टीम रवाना हो सकती है. इस तरह के पेच में होने से डूबने के तत्काल बाद टीम की सहायता नहीं पहुंचती है और अक्सर डूबती जिंदगी दम तोड़ देती है.
बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने दिया निर्देश
खगड़िया के इंस्पेक्टर दीपक होंगे नये इंस्पेक्टर
रेडक्रॉस को मिले दो गैस सिलिंडर
डूबती जिंदगी को बचाने के लिए आपदा प्रबंधन विभाग ने रेडक्रॉस को दो गैस सिलिंडर भेजा है. इस सिलिंडर की मदद से गोताखोर पानी के अंदर गहराई तक भी जा सकेंगे. नये उपकरण के होने पर डूबे हुए व्यक्ति को बाहर निकालने में मदद मिल सकेगी.
सृजन का साया जिला कंट्रोल रूम के टेलीफोन पर
पड़ा, आउट गोइंग सेवा बंद
सृजन घोटाला के कारण जिला नजारत शाखा ने जिला कंट्रोल रूम के टेलीफोन का बिल भुगतान नहीं हो सका है. इस कारण जिला कंट्रोल रूम का नंबर 0641-2421555 में लोगों के फोन आते हैं. मगर कंट्रोल रूम में ड्यूटी कर रहा व्यक्ति आपदा या अन्य कोई जानकारी को आगे (संबंधित विभाग, पदाधिकारी, कर्मचारी) नहीं बढ़ा पाते हैं. बताया जाता है कि कर्मचारी कंट्रोल रूम के रजिस्टर में सूचना को दर्ज कर देते हैं. वहां के कर्मचारी ने बताया कि आउटगोइंड सेवा नहीं होने पर कई बार खुद के मोबाइल फोन से सूचना आगे बढ़ाना पड़ता है.
यह होती है टीम को बुलाने की प्रक्रिया: डूबने की घटना होने पर व्यक्ति या तो बीडीओ व सीओ को दूरभाष पर फोन करें, अन्यथा उन्हें जिला के कंट्रोल रूम को घटना की जानकारी देनी होगी. इस घटना को आपदा शाखा में दिया जायेगा. जहां से एसडीआरएफ को संबंधित जगह पर जाने की अनुमति दी जायेगी.

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