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विक्की की गिरफ्तारी, तो मंटू से दरियादिली क्यों?
अररिया : 31 मई को फारबिसगंज कॉलेज में मतगणनास्थल के बाहर विक्की यादव को पुलिस ने गिरफ्तार किया. विक्की पर आरोप था कि उसने मंटू अंसारी को पीट कर घायल किया. इस मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की. वहीं दूसरी ओर विक्की ने भी मंटू पर प्राथमिकी दर्ज करायी. विक्की ने आरोप लगाया कि […]
अररिया : 31 मई को फारबिसगंज कॉलेज में मतगणनास्थल के बाहर विक्की यादव को पुलिस ने गिरफ्तार किया. विक्की पर आरोप था कि उसने मंटू अंसारी को पीट कर घायल किया. इस मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई की.
वहीं दूसरी ओर विक्की ने भी मंटू पर प्राथमिकी दर्ज करायी. विक्की ने आरोप लगाया कि मंटू ने उसे पीटा और उसकी बाइक भी जला दी. लोग सवाल उठा रहे हैं कि जब दोनों ओर से प्राथमिकी दर्ज हुई तो फिर मंटू को क्यों नहीं गिरफ्तार किया गया. जबकि मंटू का भी आपराधिक इतिहास रहा है. मंटू पूर्व में जदयू प्रदेश महासचिव थे. लोगों का कहना है कि पुलिस इस कारण ही मंटू के साथ दरियादिली दिखा रही है. हालांकि पुलिस का अपना तर्क है कि मामले कीा अनुसंधान चल रहा है.
दोषी पाये जाने पर मंटू पर कार्रवाई होगी. इधर जिला राजद अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ मीर रज्जाक ने जदयू प्रदेश अध्यक्ष व मुख्यमंत्री को पत्र भेज कर पुलिस के पक्षपात पूर्ण रवैया व पार्टी की छवि घूमिल होने की बात कह कर कार्रवाई की मांग की है. बहरहाल जदयू प्रदेश अध्यक्ष व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को राजद अल्पसंख्यक प्रकोष्ठ द्वारा भेजे गये पत्र ने फारबिसगंज पुलिस को कटघरे में खड़ा कर दिया है. कार्रवाई की निष्पक्षता पर सवाल पैदा तो जरूर कर दिया है.
मंटू पर दर्ज हैं आधा दर्जन मामले
पुलिस फाइल के अनुसार उसका लंबा आपराधिक इतिहास रहा है. उसके विरुद्ध रेल थाना जोगबनी व फारबिसगंज थाना में आधा दर्जन से अधिक कांड अंकित है. मंटू अब भी पुलिस गिरफ्त से बाहर है. पुलिसिया कार्रवाई के निष्पक्षता पर अब सवाल उठने लगा है कि लंबा अपराधिक इतिहास रहने के बाद भी मंटू अंसारी को गिरफ्तार क्यों नहीं किया गया.
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